राजस्थान विधानसभा में बवाल, चादर बिछा कर रात भर धरने पर बैठे रहे कांग्रेस विधायक, मुकेश भाकर के निलंबन पर हंगामा
Rajasthan Assembly Session: नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने कहा था कि कांग्रेस विधायक रात भर सदन में धरने पर बैठेंगे. मुकेश भाकर को निलंबित करने के साथ-साथ महिला विधायकों के साथ धक्का-मुक्की की गई है.
Congress MLA Protest in Rajasthan Assembly: राजस्थान विधानसभा में बीते सोमवार (5 अगस्त) को जमकर हंगामे की स्थिति बन गई जब अध्यक्ष वासुदेव देवनानी ने कांग्रेस विधायक मुकेश भाकर को सदन से सस्पेंड कर दिया. इस दौरान अन्य कांग्रेस विधायक भड़क गए और मुकेश भाकर को बाहर निकालने आए मार्शलों से भिड़ गए. इतना ही नहीं, हंगामे के बाद नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली के नेतृत्व में विपक्ष के विधायकों ने धरना दिया और सदन में ही चादर बिछा कर बैठ गए. इसका वीडियो भी सामने आ रहा है.
कांग्रेस के विधायकों ने जमीन पर बैठ कर भजन गाया 'सबको सन्मति दे भगवान'. साथ ही, मांग की कि विधायक मुकेश भाकर का निलंबन बहाल किया जाए.
VIDEO | Congress MLAs continue to protest in the Rajasthan Assembly premises over the suspension of party MLA Mukesh Bhakar.
— Press Trust of India (@PTI_News) August 5, 2024
Over an issue related to the appointment of government lawyers, Assembly Speaker Vasudev Devnani announced the suspension of Mukesh Bhakar on Monday for… pic.twitter.com/B96H6zLv0L
महिला विधायकों के साथ धक्का-मुक्की का आरोप
कांग्रेस विधायकों का आरोप है कि मुकेश भाकर को बाहर निकालने आए मार्शलों ने महिला विधायकों के साथ धक्का-मुक्की की. इसी के साथ, सदन में महिला विधायकों की सुरक्षा पर सवाल उठने लगे. विधायकों ने दावा किया कि मार्शल ने सदन में महिला एमएलए का हाथ पकड़ा, उन्हें धक्का दिया और इस वजह से काफी चोटें भी आईं. अगर महिलाएं सदन में ही सुरक्षित नहीं हैं तो बाहर कैसे रहेंगी?
ऐसे में नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली ने ऐलान किया कि विपक्ष के विधायक सदन में रात भर धरने पर बैठे रहेंगे. ये धरना तब तक चलेगा जब तक मुकेश भाकर को वापस सदन में आने नहीं दिया जाता.
धक्के-मुक्की में गिर गए कई विधायक
सदन में मार्शलों के साथ हुई लड़ाई और धक्का-मुक्की में कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक हरिमोहन शर्मा गिर गए. वहीं, कई विधायकों को चोटें आने का दावा किया गया है.
मुकेश भाकर को क्यों किया गया निलंबित?
कांग्रेस विधायकों का कहना है कि सरकार ने पीपी और एपीपी की नियुक्ति पुराने कानून यानी सीआरपीसी के तहत की थी, लेकिन अब नए आपराधिक कानून लागू हो गए हैं. इसलिए सरकारी वकीलों की नियुक्ति शून्य मानी जानी चाहिए. विपक्ष में सदन ने इसको लेकर ही सत्ता पक्ष से जवाब मांगा था. कांग्रेस का दावा है कि सरकार इस पर जवाब नहीं देना चाहती इसलिए विपक्ष के विधायकों पर एक्शन ले रही है.
कांग्रेस विधायकों का यह भी दावा है कि मुकेश भाकर पर की गई कार्रवाई गलत है, क्योंकि सत्ता पक्ष के विधायक उन्हें उकसाने का काम करते हैं और फिर हंगामा होता है. जब कांग्रेस के विधायक सदन में बोल रहे थे तो बीजेपी विधायक उन्हें बोलने नहीं दे रहे थे. इस पर मुकेश भाकर ने उनसे बैठने के लिए कहा था. इस पर उनके खिलाफ कार्रवाई को गई, जो कि गलत है.
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