Rajasthan News: दिल्ली की एक अदालत ने आज सीएम अशोक गहलोत के खिलाफ दायर मानहानि के मामले में समन जारी करने के बिंदु पर अपना आदेश सुरक्षित रख लिया. राउज एवेन्यू कोर्ट के अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट हरप्रीत सिंह जसपाल ने समन जारी करने के आदेश के लिए शुक्रवार का दिन तय किया है. केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत द्वारा मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के खिलाफ केस दर्ज करवाया गया था.
बता दें कि केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने इस महीने की शुरुआत में गहलोत के खिलाफ मानहानि का मामला दायर किया था, जिसमें दावा किया गया था कि गहलोत ने संजीवनी क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी घोटाले के संबंध में उनके खिलाफ अपमानजनक बयान दिए थे.
वित्तीय मुआवजे की मांग
उन्होंने कहा है कि मामले में एक जांच शुरू की गई थी, लेकिन उनके नाम का कहीं उल्लेख नहीं किया गया था और भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) के तहत आपराधिक मानहानि के लिए गहलोत के खिलाफ मुकदमा चलाने की मांग की थी. उन्होंने अपनी प्रतिष्ठा के नुकसान के लिए उचित वित्तीय मुआवजे की भी मांग की है.
वाकयुद्ध हुआ तेज
इससे पहले, गहलोत और शेखावत के बीच संजीवनी क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी घोटाले को लेकर वाकयुद्ध तेज हो गया था, जब राजस्थान के मुख्यमंत्री ने खुले तौर पर केंद्रीय मंत्री को 'दूसरों की तरह अपराधी' घोषित कर दिया था.
सीएम गहलोत ने कहा था, "संजीवनी को-ऑपरेटिव सोसाइटी लिमिटेड घोटाले के मामले में केंद्रीय मंत्री जनता को गुमराह करने की कोशिश कर रहे हैं. स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसओजी) की जांच में उनके खिलाफ भी उन्हीं धाराओं के तहत अपराध साबित हुआ है, जिनमें अन्य गिरफ्तार आरोपी हैं."
'ये मेरी राजनीतिक हत्या के समान'
वहीं केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने कहा था कि सीएम गहलोत ने उन्हें संजीवनी क्रेडिट कोऑपरेटिव सोसाइटी घोटाले में 'आरोपी' करार दिया था, जो 'बदला लेने के लिए उनकी राजनीतिक हत्या' के समान है. उन्होंने कहा, "एसओजी ने तीन चार्जशीट पेश कीं, लेकिन न तो मेरे और न ही मेरे परिवार का कहीं नाम है, फिर भी मुख्यमंत्री ने मुझे आरोपी बताया."
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