Govind Singh Dotasara vs Kirodi Lal Meena: राजस्थान की सात विधानसभा सीटों पर होने वाले उपचुनाव के बीच राज्य का सियासी पारा हाई है. ऐसे में राजस्थान कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा और बीजेपी नेता किरोड़ी लाल मीणा के बीच जुबानी फाइट भी चल रही है. कुछ समय पहले गोविंद सिंह डोटासरा ने किरोड़ी लाल मीणा को अपना 'साढ़ू' बताया था और यह कहा था कि दोनों का इरादा एक ही है- मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को हटाना.
डोटासरा के इस बयान पर अब किरोड़ी लाल मीणा की तल्ख टिप्पणी आई है. उन्होंने कहा, "उनके मेरे पास बहुत कबाड़े रखे हुए हैं. जिस दिन उनके कबाड़े खुल जाएंगे तो साढू का साढूपणा भूल जाएगा."
गोविंद डोटासरा ने किरोड़ी लाल पर कही ये बात
दरअसल, बीते 15 सितंबर को पीसीसी चीफ डोटासरा ने कहा था, "मैं और किरोड़ी लाल साढ़ू बन गए हैं, क्योंकि दोनों का इरादा एक ही है". वहीं, डोटासरा ने कहा था, "किरोड़ी लाल मीणा ने एक बयान दिया था, जिसमें वह कह रहे थे कि उनका प्रमोशन हो गया है. अब कैबिनेट मंत्री पद से प्रमोशन पाकर नेता मुख्यमंत्री ही बनेगा. उप-मुख्यमंत्री की कैबिनेट मंत्री जितनी भी नहीं चलती."
दौसा में किरोड़ी लाल vs सचिन पायलट
गौरतलब है कि राजस्थान की सात विधानसभा सीटों पर उपचुनाव के लिए 13 नवंबर को मतदान है. वहीं, दौसा विधानसभा सीट ऐसी है जो फिलहाल सबसे हॉट सीट बन गई है. दौसा में कांग्रेस के दिग्गज नेता सचिन पायलट ने पार्टी के चुनाव प्रचार का मोर्चा संभाला है. वहीं, बीजेपी की ओर से किरोड़ी लाल मीणा चुनाव प्रचार कर रहे हैं. ऐसे में कहा जा सकता है कि दोनों दिग्गज नेताओं की प्रतिष्ठा पर बात आ गई है. दौसा सीट पर डीसी बैरवा कांग्रेस उम्मीदवार हैं तो वहीं किरोड़ी लाल के भाई जगमोहन मीणा बीजेपी के टिकट पर लड़ रहे हैं.
राजस्थान में गहलोत-पायलट की क्या स्थिति?
पीसीसी चीफ डोटासरा ने दावा किया कि अशोक गहलोत और सचिन पायलट एक ही मंच पर हैं, साथ काम कर रहे हैं. दोनों में कोई विवाद नहीं है. वहीं, बीजेपी पर हमला करते हुए डोटासरा ने कहा कि बीजेपी के पास केवल 'बंटेंगे तो कटेंगे' जैसे नारे ही हैं. वह केवल लड़ाने-भिड़ाने और धार्मिक उन्माद फैलाने का काम करते हैं, इसके अलावा उनके पास कोई रणनीति नहीं है. उन्हें केवल हिन्दू-मुस्लिम कर के राजनीतिक रोटियां सेंकना ही आता है.
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