Invest Rajasthan Summit 2022: मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की पहल पर बीते वर्षों में किए गए नीतिगत बदलावों से राजस्थान प्रदेश निवेश का बेस्ट डेस्टीनेशन बनकर उभरा है. राज्य में निवेश प्रोत्साहित करने, औद्योगिकरण को बढ़ावा देने तथा रोजगार के अधिक से अधिक अवसर उपलब्ध कराने के उद्देश्य से सरकार यहां राजस्थान इन्वेस्ट समिट-2022 का आयोजन कर रही है. राजस्थान में निवेश को लेकर उद्यमियों में जबरदस्त उत्साह देखने को मिला है. निवेशकों ने राज्य सरकार के साथ 10 लाख 44 हजार 593 करोड़ रुपए से अधिक राशि के 4 हजार एमओयू साइन किए हैं. इनमें से करीब 520 एमओयू व एलओआई क्रियान्वित भी हो चुके हैं और 1160 क्रियान्विति के चरण में हैं. इससे प्रदेश में अब तक 1 लाख 93 हजार 759 करोड़ रुपए का नया निवेश आया है. इस निवेश से 2 लाख से अधिक लोगों को रोजगार के अवसर मिलेंगे.


इन्वेस्ट के लिए ऐसे बना पॉजिटिव माहौल
सीएम गहलोत राजस्थान में निवेश के लिए सकारात्मक माहौल तैयार करने के लिए हर संभव प्रयास कर रहे हैं. इन्हीं प्रयासों का साकार रूप इन्वेस्ट समिट में दिख रहा है, जहां दुनियाभर के विभिन्न क्षेत्रों से जुड़ी कंपनियां और निवेशक भाग ले रहे हैं. सम्मेलन में एनर्जी, केमिकल्स एंड पेट्रोकेमिकल्स, सीमेंट, मेडिकल एंड हेल्थ, माइन्स एंड मिनिरल्स, फार्मा, हैंडीक्राफ्ट एवं टूरिज्म सहित 32 महत्त्वपूर्ण क्षेत्रों में निवेश की चर्चाएं हो रही है. राज्य में इन क्षेत्रों में नए उद्योग विकसित होने से करीब 10 लाख लोगों को रोजगार मिलेगा और प्रदेश में रोजगार की नई संभावनाएं भी सृजित होंगी.


सौर ऊर्जा के क्षेत्र में राजस्थान को मिली बड़ी सफलता
समिट के तहत अब तक सबसे अधिक निवेश प्रस्ताव सौर ऊर्जा क्षेत्र में प्राप्त हुए हैं, जो करीब 8 लाख करोड़ रुपए हैं. कुल निवेश का 57 परसेंट के साथ ऊर्जा का क्षेत्र निवेश के लिए सबसे बड़ा सेक्टर बनकर उभरा है. राजस्थान सरकार ने रिन्यूएबल एनर्जी को बढ़ावा देने की ओर कदम बढ़ाते हुए इस क्षेत्र में निवेशकों के साथ 7 लाख 98 हजार 833 करोड़ रुपए के एमओयू और एलओआई साइन किए हैं. वर्तमान में  राज्य की सौर ऊर्जा क्षमता 10 हजार 560 मेगावाट है, जो देश में सर्वाधिक है. इस निवेश सम्मेलन में प्राप्त हुए निवेश प्रस्तावों के माध्यम से प्रदेश में सस्ती और ग्रीन एनर्जी का उत्पादन बढ़ सकेगा तथा राज्य सौर ऊर्जा के क्षेत्र में कीर्तिमान स्थापित करेगा. साथ ही ऊर्जा के क्षेत्र में आत्मनिर्भरता बढ़ेगी और रोजगार के नए अवसर भी विकसित होंगे.


चिकित्सा क्षेत्र में 26 हजार 543 करोड़ रुपए का निवेश
राज्य में चिकित्सा सुविधाओं को बढ़ाने और आधारभूत ढांचे को सुदृढ़ करने के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्धता के साथ कार्य कर रही है. कोविड के समय में भी राज्य सरकार ने आपदा को अवसर के रूप में लेते हुए चिकित्सकीय सुविधाएं सर्वसुलभ कराने के लिए अभूतपूर्व निर्णय किए. इन्वेस्ट राजस्थान समिट 2022 के तहत चिकित्सा एवं स्वास्थ्य के क्षेत्र में 26 हजार 543 करोड़ के 142 एमओयू एवं एलओआई समिट के पहले ही साइन हो गए. निवेशकों ने ग्रामीण क्षेत्रों में चिकित्सकीय ढ़ांचे के विकास पर भी रूचि दिखाई है. इन निवेशों से ना केवल ग्रामीण क्षेत्रों में उच्च स्तरीय चिकित्सा सुविधाएं विकसित होंगी, बल्कि स्थानीय लोगों को रोजगार के अवसर भी मिलेंगे. मुख्यमंत्री के निरोगी राजस्थान के लक्ष्य को पूरा करने की दिशा में यह एक महत्त्वपूर्ण सोपान साबित होगा.


पेट्रोकेमिकल्स उत्पादों का बनेगा प्रमुख हब
सबसे अधिक एमओयू व एलओआई माइन्स एंड मिनरल्स के क्षेत्र में साइन किए हैं. केमिकल्स एंड पेट्रोकेमिकल्स आधारित उत्पादों के क्षेत्र में निवेश को लेकर उद्यमियों ने खासी रूचि दिखाई है. इससे राजस्थान आने वाले समय में केमिकल एवं पेट्रोकेमिकल के क्षेत्र में प्रमुख हब के रूप में विकसित होगा. इस सेक्टर के अंतर्गत 207 एमओयू एवं एलओआई के माध्यम से 51 हजार 214 करोड़ रुपए का निवेश प्रस्तावित है. इन निवेशों से आर्थिक गतिविधियों में तेजी आने के साथ ही रोजगार के बड़े अवसर पैदा होंगे. पेट्रोकेमिकल सेक्टर से जुड़े बड़े ग्लोबल इन्वेस्टर्स का प्रदेश से जुड़ना अच्छा संकेत है और यह दर्शाता है कि राजस्थान को पेट्रोकेमिकल्स आधारित उत्पादों का हब बनाने के लिए निवेशक बहुत उत्साहित हैं.


इन क्षेत्रों में भी निवेशकों का रूझान
राजस्थान निवेश के लिए उद्यमियों की पहली पसंद बना हुआ है. सम्मेलन के तहत अब तक माइंस एंड मिनरल्स में 24 हजार 370 करोड़ रुपए, टेक्सटाइल में 16 हजार 875 करोड़ रुपए, टूरिज्म क्षेत्र में 12 हजार 52 करोड़ और रियल एस्टेट सेक्टर के लिए 6 हजार 749 करोड़ रुपए के एमओयू साइन किए हैं. इलेक्ट्रिक व्हीकल फैक्ट्री और स्किल डेवलपमेंट यूनिवर्सिटी के लिए भी निवेश प्रस्तावित हैं. इंफ्रास्ट्रक्चर, फूड प्रोसेसिंग, फर्नीचर, ऑटोमोबाइल, जेम्स एंड ज्वैलरी, प्लाईवुड, होटल इंडस्ट्री एवं गारमेंट सेक्टर से जुड़े उद्योग स्थापित करने के लिए भी एमओयू और एलओआई साइन किए हैं, जिनके तहत बड़े निवेश प्रस्तावित हैं. एग्रो एंड फूड प्रोसेसिंग क्षेत्र में भी निवेशकों ने खासा उत्साह दिखाया है. इस क्षेत्र में अब तक 822 एमओयू हुए हैं, जो माइन्स एण्ड मिनरल्स के बाद संख्या में सबसे अधिक हैं.


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