Rajasthan News: मौसम विभाग द्वारा राजस्थान में दो तीन दिन भारी बरसात की चेतावनी दी गई है, ऐसे में कोटा में भी प्रशासन अलर्ट हो गया है और सारी व्यवस्थाओं को चाक चौबंद करने में लगा है. जिला कलक्टर डॉ. रविन्द्र गोस्वामी ने नगर निगम उत्तर, दक्षिण एवं टैगोर हॉल स्थित बाढ़ नियंत्रण कक्षों का दौरा किया और वहां मौजूद कर्मचारियों से भारी बारिश एवं जल भराव की सूचनाओं के साथ ही कंट्रोल रूम द्वारा दिए जाने वाले क्विक रेस्पॉन्स के बारे में जानकारी ली.
डॉ. गोस्वामी ने नगर निगम उत्तर में स्थापित कंट्रोल रूम पर मौजूद ड्यूटी ऑफिसर से पूछा कि रात को 2 बजे वर्षा जनित किसी हादसे की सूचना मिले तो रिस्पॉन्स क्या रहेगा? कंट्रोल रूम ड्यूटी ऑफिसर ने बताया कि तुरंत उच्चाधिकारियों को सूचना देकर टीम रवाना की जाएगी.
कलक्टर ने पूछा कि अगर एक साथ दो जगह हादसे की सूचना मिले तो कैसे मैनेज किया जाएगा? ड्यूटी अफसर ने बताया कि दो अलग-अलग टीमें बनाकर भेजी जाएंगी. कंट्रोल रूम कर्मचारियों ने बताया कि जिला बाढ़ नियंत्रण कक्ष, पुलिस कंट्रोल रूम एवं जल संसाधन विभाग द्वारा स्थापित कंट्रोल रूम से भी निरंतर संपर्क रखा जाता है.
गोताखोर, एसडीआरएफ, सिविल डिफेंस सभी अलर्ट पर रखा
जिला कलेक्टर को चीफ फायर ऑफिसर राकेश व्यास ने जानकारी दी कि नगर निगम उत्तर एवं दक्षिण के पास अभी 6 नावे, 50 लाइफ जैकेट, 30 गोताखोर, जेसीबी, डम्पर आदि उपलब्ध हैं. साथ ही, फ्लड लाईट, रस्से सहित अन्य उपकरण भी उपलब्ध हैं. उन्होंने बताया कि एसडीआरएफ की टीम के पास भी 6 बोट हैं जो राहत एवं बचाव कार्यों में उपयोग में ली जा सकती हैं. इसके अलावा जिला बाढ़ नियंत्रण कक्ष द्वारा सिविल डिफेंस की टीमों को भी अलर्ट पर रखा जाता है.
राहत एवं बचाव कार्यों के लिए 100 लोगों की टीम बनाने के निर्देश
जिला कलक्टर ने कहा कि भारी बारिश की स्थिति एवं हादसा होने पर जरूरत पड़े तो एनडीआरएफ टीम को बुलाने का निर्णय भी त्वरित लिया जाए. उन्होंने बताया कि राहत एवं बचाव कार्यों के लिए 100 लोगों की एक टीम बनाने के संबंध में नगर निगम सहित अन्य विभागों को निर्देश दिए गए हैं. इससे पहले जिला कलक्टर जिला कलेक्ट्रेट में टैगोर सभागार स्थित बाढ़ नियंत्रण कक्ष पहुंचे और वहां मौजूद कर्मचारियों से प्रतिदिन की गतिविधियों एवं सूचनाओं के त्वरित आदान-प्रदान के बारे में जानकारी ली.
उन्होंने कहा कि रात्रि 12 बजे से सुबह 6 बजे तक ड्यूटी पर रहने वाले कर्मचारी विशेष सतर्कता बरतें और भारी बारिश, जलभराव एवं अन्य किसी घटना की जानकारी मिलते ही संबंधित अधिकारियों को सूचित करें. जरूरत पड़ने पर एडीएम सिटी एवं जिला कलक्टर को भी मोबाईल पर सूचना दी जाए.
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