Lok Sabha Election: राजस्थान में BJP ने लोकसभा चुनाव के लिए कसी कमर, जानें- 'मिशन-25' के लिए क्या है तैयारी?
Loksabha Election 2024: राजस्थान में विधानसभा चुनाव में जीत के बाद BJP अब लोकसभा के चुनाव की तैयारी में जुट गई है, BJP हर हाल में 25 सो लोकसभा सीटों पर जीतना चाहती है इसके लिए पूरा दमखम लगा दिया है.
Rajasthan Politics: राजस्थान में भारतीय जनता पार्टी ने विधानसभा चुनाव में 115 सीटों पर जीत हासिल कर सरकार बना चुकी है. बीजेपी विधानसभा चुनाव में जीत हासिल करने के बाद अब लोकसभा चुनाव में राजस्थान की 25 लोकसभा सीटों पर जीतने के लिए मिशन 25 को पूरा करने की दिशा में जुट गई है. बीजेपी जिन सीटों पर विधानसभा चुनाव के दौरान के कमजोर रही उन सीटों पर अपनी पकड़ मजबूत करने के लिए काम कर रही है.
पश्चिमी राजस्थान के बाड़मेर जिले में बीजेपी को कुछ सीटों पर हार का सामना करना पड़ा था. चुनाव से पहले उन्हें क्षेत्र के निर्दलीय विधायक व कांग्रेस सहित क्षेत्र के मजबूत नेताओं को अपने साथ लेने की तैयारी की जा रही है. विधानसभा चुनावों के दौरान बाड़मेर की हॉट सीट शिव विधानसभा सीट पर बीजेपी के प्रत्याशी की जमानत जब्त हो गई थी.
लोकसभा चुनाव के लिए ऐसे हो रही है तैयारी
बाड़मेर की शिव विधानसभा सीट से स्वरूप सिंह खारा रविंद्र सिंह भाटी सहित अन्य लोगों ने बीजेपी से टिकट की मांग की थी. बीजेपी ने स्वरूप सिंह खारा को अपना प्रत्याशी बनाया. इस दौरान रविंद्र सिंह भाटी ने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर मैदान में उतर गए. इस सीट पर बीजेपी के प्रत्याशी की जमानत जब्त हो गई थी. निर्दलीय उम्मीदवार रविंद्र सिंह भाटी चुनाव जीते थे.
बीजेपी लोकसभा चुनाव से पहले उसे क्षेत्र में अपना जन आधार मजबूत करने के लिए निर्दलीय और कांग्रेस के बड़े नेताओं को अपने साथ लाने की तैयारी में है. शिव विधानसभा से बीजेपी प्रत्याशी और पूर्व जिला अध्यक्ष स्वरूप सिंह खारा ने दलित नेता उदाराम मेघवाल की मुख्यमंत्री और प्रदेश अध्यक्ष से मुलाकात करवाई गई है. ऐसा माना जा रहा है कि आने वाले 2024 के लोकसभा चुनाव से पहले बीजेपी कोई भी कसर नहीं छोड़ना चाहती है.
नेताओं को घेराबंदी करने में जुटी बीजेपी
बाड़मेर की शिव विधानसभा क्षेत्र से विधानसभा चुनाव के दौरान दोनों निर्दलीयों उम्मीदवारों के बीच कांटे की टक्कर रही थी. इस बीच निर्दलीय रविंद्र सिंह भाटी चुनाव जीत गए. वहीं दूसरे नंबर पर कांग्रेस के बागी फतेह खान रहे थे. जानकारों की मानें तो फतेह खान के पक्ष में दलित वोट बैंक को शिफ्ट करने में उदाराम मेघवाल की बड़ी भूमिका रही थी. क्योंकि 2018 में आरएलपी के बैनर तले इसी विधानसभा सीट से उदाराम मेघवाल खुद चुनाव लड़े थे. 50 हजार से ज्यादा वोट लेकर आए थे. इसलिए बीजेपी चाहती है कि दलित वोट बैंक कांग्रेस के पास से खिसक जाए. उसे पहले ही बीजेपी जन आधार वाले नेताओं को घेराबंदी करने में जुट गई है.
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