Petrol-Battery Scooter: पेट्रोल की बढ़ती कीमतों के कारण लोग इलेक्ट्रिक व्हीकल की तरफ जा रहे हैं. कई शहरों में इन व्हीकल का बड़ी संख्या में चलन हो गया है. लेकिन एक बात यह भी की इनकी कीमतें भी ज्यादा है और यह सिर्फ बैटरी चलित ही है. लेकिन अगर ऐसा हो कि कोई स्कूटर जो बैटरी और पेट्रोल दोनों से चल जाए तो लोगों की कितनी राहत मिलेगी. ऐसा ही एक स्कूटर उदयपुर के महाराणा प्रताप कृषि एंव प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय (MPUAT) के छात्रों ने बनाया है, जो बैटरी खत्म होने के बाद पेट्रोल से भी चल जाएगा. संभवत: अभी तक ऐसी सिर्फ चार पहिया वाहन बने हैं. बड़ी बात तो यह कि जितने में बाजार में इलेक्ट्रिक व्हीकल मिल रहे हैं उससे आधी कीमत में यह बन रहा है. जानिए इस स्कूटर में क्या है खास?

 

मात्र 40-50 हजार की कीमत में तैयार हो जाएगा स्कूटर

 

छात्रों को गाइड करने वाले MPUAT यूनिवर्सिटी के CTET कॉलेज के मेकैनिकल विभाग हेड डॉ. बीएल सालवी ने बताया कि पर्यावरण प्रदूषण बड़ी समस्या है. इसे दूर करने के लिए इलेक्ट्रिक व्हीकल पर सभी शिफ्ट होते जा रहे हैं लेकिन ग्रामीण क्षेत्र में बिजली की समस्या रहती है जिससे लोग शायद इसे नहीं अपना पा रहे हैं. इसलिए एक किसान से लेकर शहरी व्यक्ति के उपयोग आने जैसा एमटेक के छात्र जय उपाध्याय और बीटेक छात्र तनय पंसारी ने स्कूटर तैयार किया है. इसका नाम हाइब्रिड स्कूटर रखा है. यह पेट्रोल और बैटरी दोनों से चल सकता है . 

 

कैसे बनाया स्कूटर

 

उन्होंने बताया कि हमने सोचा कि कंपनियां नया स्कूटर बना रही है और बाजार ने बेच रही है तो क्यों ना पुराने स्कूटर को ही ऐसा बनाया जाए जो लोगों के उपयोग ने आए. बाजार से पुराना स्कूटर खरीदा गया. इसमें इंजन को आगे वाले पहिये पर शिफ्ट किया ताकि ग्रामीण क्षेत्र में माल ढोने के समय बेलेंस अच्छे से बना रहे. फिर बाजार से बैटरी, मोटर, कंट्रोल सहित वह वस्तुएं जो बैटरी वाहन को चला सके खरीदी. फिर सभी को असेंबल किया और स्कूटर तैयार किया. इस स्कूटर को एक माह में तैयार कर दिया. अभी यह स्कूटर पेट्रोल पर उसके एवरेज के अनुसार चल रहा है और बैटरी से 30 किलोमीटर चल रहा है. इसमें बैटरी जरूरत के अनुसार बदल सकते हैं. उन्होंने यह भी बताया कि हमें इस स्कूटर को बनाने में 90 हजार खर्च हुए. अगर किसी के पास स्कूटर हो तो उसका खर्च 40-50 हजार रुपए ही आएगा. 

 

ग्रामीण क्षेत्र में ऐसे उपयोगी

 

इसे ग्रामीण क्षेत्र में उपयोगी के अनुसार बनाया गया है. इसके पीछे कैरियर लगाया गया है जिसमें किसान अपने खेत का सामान रख पाएगा. साथ ही यह सोलर से भी चार्ज हो पाएगा. किसानों के खेतों पर सोलर लगे हुए हैं. वह खेत पर जाएगा तो चार्ज लगा देगा और फिर काम करके स्कूटर से घर आ जाएगा.