PM Modi in Rajasthan: बुधवार 10 मई को बीजेपी ने राजस्थान विधानसभा चुनाव को लेकर शंखनाद किया है. पीएम मोदी उदयपुर के महाराणा डबोक एपरपोर्ट पर पहुंचे और यहां से राजसमंद जिले के नाथद्वारा पहुंचे. नाथद्वारा में प्रसिद्ध श्रीनाथ मंदिर है, जिससे नाथद्वारा को श्रीनाथ नगरी भी कहा जाता है. पीएम नरेंद्र मोदी यहां पहुंचे और श्रीनाथ प्रभु के दर्शन किया. अब सभी के जहन में एक ही सवाल की राजस्थान में कई देवी-देवताओं के प्रसिद्ध मंदिर है जहां लाखों लोगों की आस्था जुड़ी हुई है तो पीएम ने चुनावी शंखनाद के लिए नाथद्वारा क्यों चुना और यहां श्रीनाथ प्रभु के दर्शन क्यों किए. इसको लेकर चर्चाएं चल रही हैं.
इसलिए पीएम मोदी ने श्रीनाथ प्रभु के दर्शन किया
दरअसल, श्रीनाथ प्रभु के दर्शन करने के लिए हर दिन बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचते हैं. यहां दर्शन का समय भी तय किया हुआ है, उसी अनुसार श्रीनाथ प्रभु के दर्शन खुलते हैं. यहां राजस्थान सहित पड़ोसी राज्यों मध्य प्रदेश और गुजरात से बड़ी संख्या में श्रद्धालु पहुंचते हैं लेकिन सबसे ज्यादा भक्त गुजरात से हैं. गुजरात से हर दिन बड़ी संख्या में यहां श्रद्धालु पहुंचते हैं.
यही नहीं, देश के सबसे अमीर अंबानी घराने में तो को भी शुभ काम होता है तो सबसे पहले यहीं से होता है. गुजराती भक्तों की बात करें तो उनकी छुट्टियां यहीं पर होती है. गुजराती अपने छुट्टियों की शुरुआत नाथद्वारा पहुंच श्रीनाथ प्रभु के दर्शन करने के बाद अन्य पर्यटन स्थलों पर जाते हैं. सबसे बड़ी संख्या में गुजराती दीपावली के बाद आते हैं. कहा जा सकता है कि गुजरातियों के लिए सबसे बड़ा आस्था का केंद्र श्रीनाथ प्रभु ही है और पीएम मोदी गुजरात के ही है.
यही से होती है शुभ शुरुआत
माना जाता है कि गुजरातियों की हर शुभ कार्य की शुरुआत श्रीनाथ जी से ही होती है. उदाहरण के तौर पर देख सकते हैं अंबानी परिवार, जिसके व्यापार जैसे 4जी और 5जी लांच यहीं से हुआ, पारिवारिक खुशी जैसे पुत्र और पुत्री के सगाई-शादी यहीं हुई. इसी तरह पीएम मोदी राजस्थान विधानसभा चुनाव की शुभ शुरुआत यहीं से कर रहे हैं.
बीजेपी पहले भी चुनावों में इसी जिले से कर चुकी शुरुआत
यह भी बता दे कि भाजपा का राजस्थान में चुनावी शंखनाद राजसमन्द से ही शुरू होता आया है. चर्चाएं हैं कि पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे 2003 से अपने चुनाव की शुरुआत राजसमन्द स्थिति चारभुजा मंदिर से करती आईं है. राजस्थान गौरव यात्रा, परिवर्तन यात्रा और सूरज संकल्प यात्रा यहीं से निकली.