Alwar News: अलवर में राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) सरकार के लिए बड़ी बात कह दी है. मंच से उन्होंने कहा कि कार्यकर्ताओं की आवाज सरकार और कार्यालयों में सुनाई देनी चाहिए. उन्होंने कार्यकर्ताओं से ज्यादा आम जनता की आवाज के सुने जाने की भी वकालत की. उन्होंने कहा कि आम लोगों की आवाज सरकार के हर ऑफिस में सुनाई देनी चाहिये. उन्होंने सरकार और आम कार्यकर्ता के बीच 'बैरियर' को तोड़ने की बात कही है. राहुल के बयान का बड़ा मायने निकाला जा रहा है. 


राहुल ने कौन सी रस्सी तोड़ने की बात कही?


राहुल गांधी का बयान अशोक गहलोत सरकार की प्रशंसा के साथ खिंचाई से भी जोड़ा जा रहा है. उन्होंने कहा कि भारत जोड़ो यात्रा के दौरान मैंने देखा कि एक रस्सी के अंदर बड़े नेता थे और बाहर हमारे कार्यकर्ता चल रहे थे. उन्होंने कहा कि बैरियर बनी रस्सी तोड़नी पड़ेगी. पार्टी के कार्यकर्ताओं की आवाज सरकार में सुनाई देनी चाहिए. राहुल गांधी की बात पर कार्यकर्ताओं ने जमकर नारे लगाए.


राजस्थान की गहलोत सरकार को दी नसीहत


राहुल गांधी ने पैदल चलने के फायदे भी बताए. उन्होंने कहा कि मेरा सुझाव है कि महीने में एक बार राजस्थान की पूरी कैबिनेट सड़कों पर चले. 25 किमी नहीं बल्कि 15 किमी रोज एक मंत्री चले. सरकार के पैदल चलने का फायदा राजस्थान में कांग्रेस पार्टी को होगा. सरकार के चलने से छोटी बड़ी समस्याएं खत्म हो जाएंगी. अशोक गहलोत सरकार की योजनाओं की राहुल ने समीक्षा की.


राहुल गांधी ने कहा कि दो बातें अशोक गहलोत सरकार को बताना चाहूंगा. आदिवासियों को जमीन का हक राजस्थान की सरकार पूरा करके दिखा दे. आदिवासी ही हिंदुस्तान के असली मालिक हैं. कांग्रेस पार्टी को वादे पूरा करना चाहिए. सभी आदिवासी भाइयों का हक मिलना चाहिये. उन्होंने ओला, उबर और जोमैटो में काम करने वालों के लिए भी पेंशन की व्यवस्था करने की मांग की. राहुल ने कहा कि सभी को नफरत के बाजार में मोहब्बत की दुकान खोलनी है.


Watch: कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने बीजेपी नेताओं को कैसे दिया जवाब, कहा- नफरत के बाजार में, मोहब्बत की दुकान खोल रहा हूं