Rajasthan News: पश्चिमी राजस्थान के सरहदी क्षेत्र जैसलमेर (Jaisalmer) जिले के सम गांव के पास से 26 अगस्त को पकड़े गए 2 कश्मीरी संदिग्ध युवकों से सभी एंगल से पूछताछ व जांच की जा रही हैं. इन दोनों ने जांच एजेंसियों को पूछताछ में बताया था कि वह कश्मीर में बने मदरसों के विकास के लिए चंदा ले रहे हैं जबकि हकीकत इससे उलट निकली. उनके पास से मिली चंदे की रसीद बुक भी फर्जी बताई जा रही है. वह चंदे के नाम पर लोगों से रुपए वसूल कर खुद ही मौज मस्ती कर रहे हैं. दोनों संदिग्ध युवकों से मदरसे के लिए चंदे की बात पर दोनों युवकों के बयान के आधार पर कश्मीर में उनका रिकॉर्ड खंगाला जा रहा है.
दोनों युवक मदरसों के नाम पर करते थे उगाही
जांच एजेंसियां दोनों संदिग्ध युवकों से हर एंगल से पूछताछ कर रही हैं. सूत्रों से मिली जानकारी में सामने आया है कि कश्मीर के पुंछ जिले के रहने वाले दोनों युवक मोहम्मद अब्बास और मुमताज अहमद, मदरसों के नाम पर चंदा वसूली के लिए जैसलमेर के सम इलाके में घूम रहे थे. दोनों को पकड़ा गया, पूछताछ की गई तो उन्होंने बताया कि लेकिन जब कश्मीर के संबंधित मदरसों से इस संबंध में जानकारी ली गई तो धर्म के नाम पर चंदे की ठगी के धंधे का खुलासा हुआ. उन मदरसों ने अपनी रसीद बुक होने से इनकार किया है.
फर्जी रसीद बुक का करते हैं इस्तेमाल
सूत्रों ने बताया कि इससे पता चला है कि ऐसे कई लोग मदरसों के मदद के नाम पर रसीद बुक लेकर दूसरे राज्य से चंदा वसूलने का काम करते है. ऐसे लोग फर्जी रसीद बुक लेते हैं और फिर इकट्ठा की गई राशि खुद के ऊपर पर खर्च कर देते हैं क्योंकि संदिग्धों के पास मिली रसीदों में कहीं पर भी पैसे का जिक्र नहीं है और हिसाब किताब भी साफ नहीं है. इन दोनों के बयान के आधार पर कश्मीर में उनसे संबंधित रिकॉर्ड को खंगाला जा रहा है.