Rajasthan News: राजस्थान में राशन डीलर लंबे अपनी लंबित मांगों को नहीं माने जाने के विरोध में एक अगस्त से प्रदेश में हड़ताल पर हैं. राजस्थान डीलर समन्वय समिति के प्रदेश संरक्षक सत्यनारायण रिणवा ने कहा कि सरकार की दमनकारी नीति के कारण उचित मूल्य दुकानदार अपना घर खर्च भी नहीं चला पा रहे हैं. सरकार कम से कम 30 रुपये कुंटल कमीशन राशन डीलर को दे,  ताकि वह अपना घर चला सकें. उन्होंने कहा कि जब तक हमारी मांगों को पूरा नहीं किया जाएगा तब तक राशन का उठाव नहीं किया जाएगा.


राशन डीलरों की हड़ताल के चलते गरीबों को गेहूं भी नहीं मिल पा रहा है. राजस्थान डीलर समन्वय समिति के प्रदेश संरक्षक सत्यनारायण रिणवा ने कहा कि राज्य सरकार के द्वारा चलाई जा रही अन्नपूर्णा फूड पैकेट योजना में एक फूड पैकेट की कीमत सरकार ने 370 रुपये रखी है. वहीं फूड पैकेट किसी कारण खराब हो जाता है, या कमी होती है तो एक फूड पैकेट के राशन डीलर से 740 रुपये वसूले जाएंगे. रिणवा ने बताया कि सरकार हमारी मांगे नहीं मानेगी तो हम लोग अन्नपूर्णा फुल पैकेज का बहिष्कार करेंगे.


सरकार को दी  आंदोलन  की चेतावनी
उन्होंने कहा कि साथ ही राज्य सरकार के विरुद्ध आंदोलन भी करेंगे. आने वाले चुनाव में उसका असर आप लोगों को साफ देखने को मिलेगा. राशन डीलरों को पिछले छह-सात महीने से कमीशन भी नहीं दिया जा रहा है. आर्थिक तंगी से परेशान होकर एक राशन डीलर ने आत्महत्या की है. सरकार की ओर से हम पर दबाव बनाया जा रहा है कि दुकान पर नया रंग रोगन करें. कुर्सीयां और पोस्टर लागएं. इसका खर्च 5 हजार रुपये है. वो हम कैसे खर्च कर सकते हैं, जबकि हमारे परिवार का भी खर्च पूरा नहीं हो रहा है.


एक अगस्त से ही है काम बंद
वहीं राजस्थान डीलर समन्वय समिति राजस्थान के प्रदेश संयोजक डिंपल कुमार शर्मा ने बताया कि एक अगस्त से लगातार कार्य का बहिष्कार किया जा रहा है. प्रदेश के सभी राशन डीलरों के द्वारा यह निर्णय लिया गया है कि जब तक हमारी मांगों को नहीं मान लिया जाता तब तक राशन वितरण नहीं किया जाएगा और अनिश्चित काल के लिए हड़ताल जारी रहेगी. मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास और अतिरिक्त मुख्य सचिव के साथ समिति पदाधिकारियों की बैठक में कुछ.निर्णय लिए गए थे, लेकिन उनको भी क्रियान्वित नहीं किया गया है. बता दें प्रदेश में एक अगस्त से सभी राशन डीलरों के हड़ताल पर होने के कारण लोगों को गेहूं का वितरण नहीं हो रहा है राशन डीलरों ने गेहूं के वितरण के लिए मना कर दिया है. सरकार उन्हें एक पैकेट वितरण के बदले चार रुपये दे रही है. वो 30-35 रुपये की मांग कर रहे हैं.


राशन डीलरों की मांगे
1. उचित मानदेय लगभग तीस हजार रूपये प्रत्येक माह वार किया जाए. 
2. दो फीसदी छीजत का प्रावधान किया जाए.
3. बकाया कमीशन अतिशीघ्र दिलवाया जाए (आंगनबाड़ी का कमीशन सहित)
4. पोश मशीन के रख रखाव के लिए की जा रही कटौती बंद की जाए. 
5. अन्नपूर्णा फुड पैकेट पर कमीशन चार रूपये से बढ़ाकर प्रत्येक पैकेट पर तीस रुपये किए जाएं.
6. गेहूं, फूड पैकेट और तेल के लिए एक ही बार सत्यापन किया जाए.
7. 55 वर्ष से अधिक आयु वाले डीलरों को राशन दुकान नामान्तरण की छूट दी जाए.
8. राशन गेहूं की उतराई और तुलवाई का भुगतान जो अभी डीलर कर रहा है, उसका भुगतान परिवहनकर्ता द्वारा करवाया जाए.


मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अपने बजट में घोषणा के अनुसार, राहत कैंप में पंजीकृत और खाद्य सुरक्षा योजना के लाभान्वित परिवारों को रसद विभाग के द्वारा मुख्यमंत्री निशुल्क अन्नपूर्णा फूड पैकेट योजना के तहत फूड पैकेट के वितरण की शुरुआत 15 अगस्त से प्रदेश में की जाएगी. राज्य सरकार की गरीबों के लिए अन्नपूर्णा फूड पैकेट योजना में मिलने वाले इस फूड पैकेट में एक लीटर सोयाबीन तेल, एक किलो चीनी, एक किलो चने की दाल, एक  किलो नमक, 100 ग्राम लाल मिर्ची, 100 ग्राम धनिया, 50 ग्राम हल्दी को शामिल किया गया है.


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