ABP C-Voter Survey: राजस्थान में बीजेपी को वसुंधरा या किसी और को सीएम चेहरा प्रोजेक्ट करना चाहिए, सर्वे में दिलचस्प नतीजा सामने आया
ABP News Survey: राजस्थान में बीजेपी ने 2023 के विधानसभा चुनाव के लिए अभी तक किसी को मुख्यमंत्री पद का चेहरा नहीं बनाया है. हालांकि वहां इसको लेकर गुटबाजी की खबरें भी आती रहती हैं.
ABP C Voter Survey: राजस्थान विधानसभा के चुनाव (Rajasthan Assembly Election 2023) इस साल के अंत तक होने हैं. सभी राजनीतिक दल जोर-शोर से चुनाव की तैयारी कर रहे हैं. यहां मुख्य मुकाबला बीजेपी (BJP) और कांग्रेस (Congress) के बीच है. एक तरफ जहां कांग्रेस अपनी सरकार बचाने के लिए जी तोड़ कोशिशें कर रही है. वहीं बीजेपी उसे सत्ता से हटाने के लिए एड़ी-चोटी का जोर लगाए हुए है. इस चुनाव में बीजेपी ने अभी तक किसी को मुख्यमंत्री पद का चेहरा नहीं घोषित किया है. इस बीच एबीपी न्यूज और सी वोटर ने एक सर्वे किया है. इसमें लोगों से एक सवाल यह पूछा गया कि क्या राजस्थान विधानसभा के चुनाव में बीजेपी को मुख्यमंत्री पद का चेहरा प्रोजेक्ट करना चाहिए ? इस सवाल के जवाब बड़े दिलचस्प मिले. आइए जानते है कि लोगों का क्या कहना है.
सर्वे में लोगों से सवाल क्या किया गया था
इस सवाल पर जवाब देने वाले 60 फीसदी लोगों की राय थी कि बीजेपी को सीएम पद का चेहरा प्रोजेक्ट करना चाहिए. वहीं 28 फीसदी लोगों की राय थी कि नहीं बीजेपी को इस चुनाव में सीएम पद पर किसी का चेहरा नहीं प्रोजेक्ट करना चाहिए. इस सवाल का जवाब देने वाले 12 फीसदी लोगों ने पता नहीं के रूप में जवाब दिया.
क्या राजस्थान में बीजेपी को भी सीएम चेहरा प्रोजेक्ट करना चाहिए ? –
- हां: 60 फीसदी
- नहीं: 28 फीसदी
- पता नहीं: 12 फीसदी
राजस्थान का चुनावी रण
राजस्थान में अशोक गहलोत के नेतृत्व में बीजेपी की सरकार चल रही है. राज्य की दोनों ही दलों ने अभी तक किसी को सीएम पद का चेहरा नहीं बनाया है. माना जा रहा है कि कांग्रेस अशोक गहलोत सरकार के कामकाज पर वोट मांगेगी. वहीं बीजेपी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चेहरे पर चुनाव मैदान में होगी. हालांकि दोनों ही दलों को अपनी आंतरिक कमजोरियों से जूझना पड़ रहा है. एक तरफ जहां कांग्रेस पिछले कई सालों से अशोक गहलोत और सचिन पायलट की प्रतिद्वदिता का कोई स्थायी समाधान नहीं ढूंढ पाई है. वहीं बीजेपी में भी आंतरिक गुटबाजी की खबरें गाहे-बगाहें आती रहती हैं.
डिस्क्लेमर: सी वोटर के इस त्वरित सर्वे में 4029 लोगों से बात की गई है. सर्वे पिछले हफ्ते किया गया है. इसमें मार्जिन ऑफ एरर प्लस माइनस 3 से प्लस माइनस 5 फीसदी है.
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