Rajasthan Chief Minister: राजस्थान में भारतीय जनता पार्टी विधायक दल ने अपना नेता चुन लिया है. सांगानेर के 56 साल के भजनलाल शर्मा राजस्थान के नए मुख्यमंत्री होंगे. भारतीय जनता पार्टी ने ब्राह्मण चेहरे पर बड़ा दांव खेला है, क्योंकि पिछले 33 सालों से राजस्थान में कभी भी ब्राह्मण चेहरे को मुख्यमंत्री या उपमुख्यमंत्री नहीं बनाया गया है. राजस्थान में ब्राह्मण चेहरे के तौर पर आखिरी बार 1990 में हरदेव जोशी कांग्रेस की तरफ से मुख्यमंत्री थे. बांसवाड़ा से हरदेव जोशी विधायक हुआ करते थे. उनके मुख्यमंत्री कार्यकाल के बाद से बीजेपी और कांग्रेस लगातार ओबीसी और क्षत्रिय चेहरों पर दांव लगाती रही है. 


इसी वजह से लगातार ब्राह्मण वोटर कभी बीजेपी कभी कांग्रेस में जाते रहे. पिछली बार कांग्रेस ने बड़ा दांव खेलते हुए सीपी जोशी को विधानसभा अध्यक्ष बनाया था, मगर वह दांव इस बार फेल हुआ.  राजस्थान में सीधे तौर पर 50 विधानसभा सीट ऐसी हैं जिस पर ब्राह्मण वोटर्स का असर रहता है. कांग्रेस ने जहां 16 ब्राह्मण प्रत्याशियों को मैदान में उतारा था, वहीं इस बार भारतीय जनता पार्टी ने 20 ब्राह्मण प्रत्याशियों को मैदान में उतारा था. इसमें से बड़ी संख्या में बीजेपी के ब्राह्मण प्रत्याशी चुनाव जीत करके आए, जबकि कांग्रेस के ब्राह्मण प्रत्याशियों को बड़ी हार मिली है. 


राम मंदिर और ब्राह्मण चेहरा 
राजस्थान में भारतीय जनता पार्टी ने राम मंदिर को इस बार मुद्दा बनाया और ब्राह्मण चेहरे पर दांव लगाया है. जयपुर की सांगानेर विधानसभा सीट से चुनाव जीतने वाले भजनलाल शर्मा भरतपुर के मूल निवासी हैं. बीजेपी ने सीपी जोशी को ब्राह्मण चेहरे के तौर पर अध्यक्ष बनाया था. उसका नतीजा रहा मेवाड़, मारवाड़ और ढूंढाड़ में ब्राह्मणों ने बीजेपी को अधिक सीटों पर चुनाव जिताया है. भजनलाल को मुख्यमंत्री बनाए जाने को लेकर सियासी गलियारों में इसे बीजेपी का लोकसभा चुनाव में बड़ा दांव माना जा रहा है. राजस्थान में ब्राम्हण वोटर्स की संख्या लगभग 7 फीसदी है. भजनलाल शर्मा के अलावा बीजेपी ने दीया कुमारी और प्रेम चंद बैरवा के रुप में दो उपमुख्यमंत्री बनाया है. 


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