Rajasthan Budget 2024 News: राजस्थान की सरकार अगले महीने बजट पेश करने वाली है. इसे लेकर महिलाओं को कई बड़ी राहत की उम्मीद है. चूंकि, दिया कुमारी वित्त मंत्री हैं. इसलिए महिला प्रोफेसर, डॉक्टर, समाजसेवी, कलाकार और उद्यमी कई बातों में राहत चाह रहे हैं. इसलिए आइए जानते हैं उनकी मांगे और उम्मीदें क्या हैं?


द्रोपदी मीणा लाख आर्टिस्ट हैं. इनका कहना है कि प्रदेश में लाख का काम करने वाले लोगों को अवसर मिले. उन्हें सरकार राहत दें. जिससे वह आगे बढ़े सकें. अभी तक कोई बड़ी व्यवस्था नहीं की गई है. सरकार बजट पेश करते समय हमारी बातों को सुननी चाहिए. आर्थिक रूप से सहायता भी दी जानी चाहिए. जिससे इस उद्योग को आगे बढ़ा सके साथ ही अधिक लोगों को काम भी मिल सकेगा.



भगवान महावीर कैंसर हॉस्पिटल में डॉ इंदु सैनी का कहना है कि आजकल बच्चियों और महिलाओं में सर्वाइकल कैंसर बहुत देखा जा रहा है. सभी बच्चियों में एचपीवी वैक्सीन अनिवार्य किया जाए. सभी स्कूल जाने वाली बच्चियों और महिलाओं के लिए स्वास्थ्य कार्ड अनिवार्य किया जाए. जिसका रिकॉर्ड ऑनलाइन रहे जिसमें हर साल आयरन, कैल्सियम, विटामिन, सुगर, एलएफटी, आरएफटी, कैलस्ट्रोल, थायराइड की जांच अनिवार्य हो जिससे सही समय पर इलाज सम्भव हो और गंभीर बीमारियों से बचाया जा सके.



महिला उद्यमियों ने की ये मांग


फोर्टी विमेन विंग की प्रेसिडेंट डॉक्टर अलका गौड़ का कहना है कि महिला उद्यमियों के लिए आगामी बजट में सस्ते ब्याज दर पर लोन और सब्सिडी प्रदान की जाए. स्टार्टअप्स के लिए विशेष फंडिंग योजनाएं और अनुदान, उद्यमिता कौशल बढ़ाने के लिए प्रशिक्षण कार्यक्रम और वर्कशॉप आयोजित करना चाहिए. 


महिला उद्यमियों के उत्पादों और सेवाओं को बाजार में प्रमोट करने के लिए सरकारी समर्थन और नेटवर्किंग के अवसर प्रदान करना चाहिए. महिला उद्यमियों को डिजिटल स्किल्स और तकनीकी ज्ञान में प्रशिक्षित करना, महिला उद्यमियों के लिए व्यापारिक इन्फ्रास्ट्रक्चर जैसे कोवर्किंग स्पेस और व्यापारिक सलाहकार सेवाएं प्रदान करना चाहिए.



विमेन एंड चाइल्ड राइट्स एक्टिविस्ट भाग्यश्री सैनी का कहना है कि वर्तमान में राजस्थान में असंख्य बेटियां ऐसी हैं, जो स्कूल ड्रॉप आउट हैं. जिनके पास न पर्याप्त शिक्षा है, न स्किल ट्रेनिंग जिसके अभाव में वो अपने जीवन को दिशा नहीं दे पाती हैं और समाज की मुख्यधारा में पीछे रह जाती हैं. ड्रॉप आउट बेटियों को चिह्नित करते हुए उन्हें शिक्षा से जोड़ने को प्राथमिकता देते हुए ऐसी प्रोत्साहन योजना बनाई जाए. जिसमें घरेलू वित्तीय समस्या शिक्षा लेने में बाधा न बन सके. शिक्षा के साथ ही कम्युनिटी स्तर पर स्किल ट्रेनिंग कार्यक्रम शुरू करने की जरुरत है.





राजस्थान विश्वविद्यालय की प्रो. डॉक्टर अलका शर्मा का कहना है कि सरकार का यह उद्देश्य होना चाहिए की महिलाएं भी पुरुषों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर आगे बढ़ सकें. महिलाओं के लिए रोजगार, चिकित्सा और सुरक्षा की व्यवस्था होनी चाहिए. बालिका शिक्षा को बढ़ावा मिलना चाहिए. बजट में एक बड़ा हिस्सा महिलाओं का होना चाहिए और राजनीति में महिलाओं की हिस्सेदारी बढ़े इसके लिए समुचित प्रयास होने चाहिए.




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