Rajasthan News: विधानसभा में उठा डॉक्टर्स और अन्य स्टाफ की कमी का मुद्दा, MLA मनीषा पंवार ने कही ये बात
jodhpur News: विधानसभा के सत्र में जोधपुर शहर की विधायक मनीषा पंवार ने अस्पतालों में डॉक्टर्स और नर्सिंगकर्मियों की कमी के मुद्दे की ओर ध्यान आकर्षित किया.
Rajasthan Assembly session: राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) की सरकार प्रदेशवासियों के स्वास्थ्य को लेकर कई नए फैसले ले रही है. पुरानी अस्पतालों को अपग्रेड किया जा रहा है वहीं कई जगह नए अस्पताल भी बनाए जा रहे हैं. प्रदेश में इंफ्रास्ट्रक्चर तो बढ़ रहा है लेकिन डॉक्टर और नर्सिंग कर्मियों की लगातार कमी भी सामने आ रही है. इसके चलते अस्पतालों में मरीजों की लंबी-लंबी लाइनें देखने को मिलती है. विधानसभा के सत्र में जोधपुर (Jodhpur) शहर की विधायक मनीषा पंवार ने अस्पतालों में डॉक्टर्स और नर्सिंगकर्मियों की कमी के मुद्दे की ओर ध्यान आकर्षित किया.
अस्पताल जोधपुर में डॉक्टर्स की कमी
जोधपुर शहर विधायक मनीषा पंवार ने विधानसभा में प्रस्ताव के तहत डॉ. एस.एन. मेडिकल कॉलेज जोधपुर के अधीन मथुरादास माथुर अस्पताल जोधपुर पश्चिमी राजस्थान का प्रमुख चिकित्सा संस्थान है. मुख्यमंत्री चिरंजीवी योजना एवं निःशुल्क दवा योजना के सफलता पूर्वक शुरू होने के बाद अस्पताल में ओपीडी और आईपीडी का मरीज भार लगभग 30 फीसदी बढ़ गया.
वर्तमान में मुख्यमंत्री ने मथुरादास माथुर अस्पताल जोधपुर में कई नये विभागों की सौगात दी है. हलांकि इस अस्पताल में डॉक्टर्स की कमी है. मुख्य रूप से यहां फ्रोलॉजी और यूरोसर्जरी की कमी है जिस वजह से जोधपुर में रेनल ट्रांसप्लाण्ट भी नहीं हो पा रहा. इसी प्रकार कार्डियोलोजी विभाग में मरीजों का भार अधिक है लेकिन कार्डियो डॉक्टर की कमी है. एम.डी.एम. अस्पताल जोधपुर में नेफ्रो, यूरोलोजिस्ट और कार्डियो के सुपर स्पेशलिस्ट डॉक्टर्स को लगाया जाना आवश्यक है. यदि इन विषयों में चिकित्सा शिक्षक नहीं मिल पा रहे हैं तो इन्हीं स्पेशिलिएटी के मेडिकल ऑफिसर्स लगाये जा सकते हैं.
पद बढ़ाने की बात की
15 वर्षों से डॉ. एस.एन. मेडिकल कॉलेज जोधपुर जितने चिकित्सा अधिकारी के पद थे उतने ही आज भी हैं. यहां पहले भी 37 पद थे अभी 37 पद ही हैं. जबकि मेडिकल कॉलेज जोधपुर के अधीन अस्पतालों में चिकित्सा सुविधाओं का 15 वर्षों में अधिकतम विस्तार हुआ और मरीज भार में भी वृद्धि हुई. अतः निवेदन है कि चिकित्सा अधिकारियों के पद बढ़ाये जाये साथ ही चिकित्सा अधिकारियों की अतिशीघ्र नियुक्ति प्रदान की जाये.
यहां चिकित्सा अधिकारियों के साथ-साथ आहार विशषज्ञ, नर्सिंग कार्मिक, लेब टेक्निशियन एवं मंत्रालयिक संवर्गपदों में भी वृद्धि होगी, तो अस्पताल का सुचारू रूप से संचालने हो पाएगा. साथ ही इससे मरीजों को लंब-लंबी कतारों से राहत भी पाएगा.