Rajasthan News: राजस्थान के पिछली कांग्रेस सरकार द्वारा कोटा में किए गए विकास कार्यों की उपेक्षा और लापरवाही के कारण विश्व स्तरीय महत्वपूर्ण प्रोजेक्ट्स अपना नाम खो रहे हैं. पूर्व मंत्री कोटा उत्तर से विधायक शांति धारीवाल ने कोटा विकास प्राधिकरण आयुक्त को पत्र लिखकर मांग की है कि वह रख रखाओ पर पूरा ध्यान दें, नहीं तो करोड़ों के प्रोजेक्ट बेकार हो जाएंगे.


शांति धारीवाल ने पत्र में लिखा कि "आपको ध्यान होगा कि पिछली कांग्रेस सरकार के समय कोटा को विश्व पर्यटन नगरी बनाने के लिए कई विकास कार्य करवाए गए थे, ताकि कोटा में देशी-विदेशी पर्यटक आएं. इससे कोटा की आर्थिक व्यवस्था सुधरेगी, जिससे आम लोगों कि आजिविका में सुधार होगा."


"इस विकास के साथ देशी-विदेशी पर्यटकों को बढ़ावा देने के लिए प्रचार-प्रसार के लिए राज्य सरकार ने 68 करोड़ रुपये की तत्कालीन नगर विकास न्यास को स्वीकृति भी दी गई थी. महत्वपूर्ण कार्य चंबल रिवर फ्रंट, सिटी पार्क संपूर्ण शहर और चौराहे पर सौंदर्यकरण, अंडरपास, एलिवेंट आदि बनाए गए थे. इन देशी-विदेशी पर्यटकों को आमंत्रित करने के लिए आप द्वारा अभी तक क्या प्रयास किए गए हैं."


केडीए की लापरवाही उजागर
शांति धारीवाल ने कहा कि प्रचार-प्रसार के साथ-साथ चंबल रिवर फ्रंट, सिटी पार्क, लाइटिंग और समस्त चौराह, अंडरपास की और संपूर्ण शहर में लाइटिंग आदि का रख-रखाव नहीं हो रहा है. यह केडीए की पूर्णतया लापरवाही और उपेक्षा को प्रदर्शित करता है. इससे शहर में किए गए करोड़ों रुपये के विकास कार्य खराब होते जा रहे है.


पूरे शहर में आधी लाइटों का बंद रहना, चंबल माता की मूर्ति से जलधारा का बंद होना स्पष्ट रूप से अधिकारियों की शहर के प्रति उपेक्षा और लापरवाही दिखा रही है. कोटा विकास प्राधिकरण बनने के बाद यह आशा की जा रही थी कि शहर में किए गए विकास कार्यों का रख-रखाव बेहतर होगा, लेकिन ऐसा नहीं हो रहा है जो घोर लापरवाही है.



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