Rajasthan New Districts: राजस्थान विधानसभा चुनाव 2023 से पहले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सदन में कई बड़ी घोषणाएं कीं. ऐसी घोषणाएं जिन्होंने राजस्थान के भूगोल बदल दिया है. सीएम गहलोत के एलान के बाद अब राजस्थान में 33 जिले, नहीं बल्कि कुल 50 जिले हो गए हैं. वहीं, संभाग की संख्या 7 से बढ़कर 10 हो जाएगी. इसपर मुख्यमंत्री की मुहल लग गई है.
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि काफी समय से राजस्थान में नए जिलों की मांग उठ रही थी. इसके लिए सरकार ने एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया था. अब कमेटी की फाइनल रिपोर्ट आ गई है. इसके बाद विचार विमर्श कर के 19 नए जिलों की घोषणा की जा रही है. इनमें अनूपगढ़, डीडवाना, दूदू, गंगापुर सीटी, जयपुर उत्तर, जयपुर दक्षिण, ब्यावर, बालोतरा, डीग, जोधपुर पूर्व, जोधपुर पश्चिम, केकड़ी, कोटपुतली, सांचोर, शाहपुरा, बहरोड़, खैरथल, फलोदी, सलुंबर और नीम का थाना शामिल होंगे.
अब 7 की जगह होंगे 10 संभाग
इसके अलावा, तीन नए संभाग का भी एलान किया गया है. सीएम गहलोत की घोषणा के बाद राज्य में तीन नए संभाग शामिल किए जा रहे हैं. इसमें बांसवाड़ा, पाली और सीकर शामिल हैं. इससे पहले तक जयपुर, जोधपुर, उदयपुर, भरतपुर, कोटा, अजमेर और बीकानेर सात संभाग थे.
पूरी तरह से जिला बनने में लगता है कितना समय?
आपको जानकारी के लिए बता दें कि भले ही नए जिलों की घोषणा करने में कुछ सेकंड लगे हों, लेकिन इसे जमीनी तौर पर पूरा होने के लिए कई साल लग जाते हैं. एक जिले में करीब 40 विभाग होते हैं और एक विभाग में औसतन 12 कर्मचारी भी रखे जाएं, तो कम से कम 400 से 500 स्टाफ की जरूरत पड़ती ही है. यानी 19 जिलों के लिए लगभग 10 हजार कार्मिकों की आवश्यक्ता होगी. इन कार्मिकों की नियुक्ति में लगभग दो साल का समय लग जाता है.
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