Rajasthan: गांव की लड़कियां आगे बढ़ें इसलिए बना दी हॉकी की टीम, पढ़ें झुंझुनू की सरपंच की पूरी कहानी
Jhunjhunu News: नीरू यादव का कहना है कि गांव में हॉकी के लिए टीम बनान कोई आसान काम नहीं था. गांव में प्रतिभाओं को तराशने के लिए उनके लिए घर- घर पर जाकर उनकी काउंसलिंग की है.
Rajasthan News: पिछले दिनों बाड़मेर के शेरपुरा की 15 साल की मूमल की बैटिंग का वीडियो देशभर में चर्चा में रहा. वहीं इसी तरीके की लड़कियों को आगे बढ़ाने के लिए झुंझुनू की सरपंच ने भी ठान ली है. पिछले साल से उन्होंने अपने गांव में ही एक हॉकी की टीम भी बना दी है, जिसमें लड़कियां हॉकी खेल भी रही हैं.
झुंझुनू जिले की तहसील बुहाना तहसील के ग्राम पंचायत लाम्बी अहिर की सरपंच नीरू यादव ने बताया कि लकड़ियों को कम उम्र में ही शादी का दबाव बना दिया जाता है और उन्हें न तो खेलने और न ही पढ़ने के लिए बेहतर अवसर मिल पाता है. इसलिए अब हमने लड़कियों को हॉकी खेलने के लिए तैयार किया. इन लड़कियों के अंदर खेल के साथ ही साथ राष्ट्रीयता को भी आगे बढ़ाना है. नीरू का कहना है कि हमने अपने ग्राम पंचायत को बेहतर किया है. इसके साथ ही साथ पिछले साल से खेल को बढ़ावा देने के लिए गांव में हॉकी की टीम बना दिया है.
गांव का किया कायाकल्प
सरपंच नीरू यादव ने अपने गांव का कायाकल्प किया है. ये प्रदेश की पहली महिला सरपंच हैं जो "सच्ची सहेली महिला एग्रो" के नाम से FPO (किसान उत्पादन संगठन) का संचालन भी करती हैं. इसमें किसान अनाज उगाकर देते हैं. खाद बीज या अन्य सामग्री उनको वाजिब शुल्क में मिले इस उद्देश्य से एफपीओ चलाती हैं. इन्होने इस संस्थान को नाबार्ड की सहायता से शुरू किया था. जिससे इनके गांव में किसानों को राहत भी मिलने लगी है.
'टीम बनाना नहीं था आसान'
नीरू यादव का कहना है कि गांव में हॉकी के लिए टीम बनान कोई आसान काम नहीं था. लेकिन इसे बनाया है. गांव में प्रतिभाओं को तराशने के लिए खासतौर पर वो प्रतिभाएं जो खेल के क्षेत्र में आगे बढ़ना चाहती हैं. उनके लिए घर- घर पर जाकर उनकी काउंसलिंग करना और उनकी एक हॉकी की टीम खड़ी की है. इसके लिए शुरू में खुद के वेतन से एक कोच भी रख लिया. जो इन हॉकी की खिलाड़ी लड़कियों को बेहतरीन ट्रेनिंग भी देते हैं. ट्रेनिंग का विशेष ख्याल रखने के लिए सुबह उठकर सभी को प्ले ग्राउंड में ले जाकर उन सभी को तैयारी करवाना अब इनके प्रतिदिन जीवन का हिस्सा बन गया. इसे लिए अब गांव के लोगों में हॉकी के प्रति भाव बढ़ गया है.
जिला स्तर पर खेली है टीम
नीरू यादव बताती हैं कि अब इसका परिणाम यह है कि हमारी टीम जिला स्तर पर खेल चुकी है. पिछले दिनों ग्रामीण ओलंपिक्स खेलों में हमारी हॉकी टीम ने खेला है. अब वह राज्य और राष्ट्रीय स्तर पर खेलने की ख्वाहिश रखते हुए इन लड़कियों की हॉकी टीम को और बेहतर करने में लगी हुई है. जब से वह अक्टूबर, 2020 में पहली बार सरपंच बनीं, तब से ही वह अपना वेतन बालिकाओं के लिए और स्कूल एवं खेल के मैदानों के निर्माण के लिए लगी हुई हैं. नीरू ने खुद बीएससी, एमएससी, बीएड, एमएड हैं और पीएचडी किया है. उन्होंने कहा कि फिलहाल, मेरा उद्देश्य अपने गांव की लड़कियों को राष्ट्रीय स्काउट और गाइड जंबोरी में ले जाना है. इस टीम को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने की पूरी कोशिश है.
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