Rajasthan News: राजस्थान हाई कोर्ट जोधपुर में ईडी ने स्काईलाइट हॉस्पिटैलिटी प्राइवेट लिमिटेड और महेश नागर की 482 के प्रार्थना पत्र और इंफोर्समेंट डायरेक्टरी पेश की. कस्टोडियल परमिशन के प्रार्थना पत्र पर दोनों ही पक्षों की जस्टिस पुष्पेंद्र सिंह भाटी की कोर्ट में सुनवाई हुई. कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा है, जो कल सुनाया जाएगा. रॉबर्ट वाड्रा-मौरीन वाड्रा और महेश नागर की ओर से अदालत में वरिष्ठ एडवोकेट केटीएस तुलसी ने पक्ष रखा. वहीं, ईडी की ओर से एडवोकेट सॉलिसिटर जनरल राजदीपक रस्तोगी और वरिष्ठ अधिवक्ता भानु प्रताप बोहरा ने अपना पक्ष रखा.


एडिशनल सॉलीसीटर जनरल राजदीपक रस्तोगी ने एबीपी न्यूज़ से खास बातचीत में बताया कि यह मामला बहुत पुराना है. साल 2018 में बीकानेर पुलिस ने कोलायत में सरकारी जमीन फर्जीवाड़े के मामले में एक एफआईआर दर्ज की थी. केस को ने सीबीआई टेक ओवर कर लिया, जिसकी जांच चल रही है. कोलायत में सरकारी जमीन के फर्जीवाड़े को देखते हुए ED ने एक ईसीआर दर्ज की थी. उस दौरान स्काईलाइट हॉस्पिटैलिटी प्राइवेट लिमिटेड के लायबिलिटी पार्टनर रॉबर्ट वाड्रा, उनकी मां मौरीन वाड्रा, पार्टनर महेश नागर राजस्थान हाई कोर्ट पहुंचे. कोर्ट ने राहत देते हुए थर्ड पार्टी अंतरिम आदेश जारी किए थे. इसके चलते रॉबर्ट वाड्रा, मौरीन वाड्रा और महेश नागर की गिरफ्तारी पर अंतरिम रोक जारी है. 


ईडी के तरफ से पेश किया गया था प्रार्थना पत्र
इस गिरफ्तारी की अंतरिम रोक के आदेश को हटाने को लेकर ईडी की तरफ से एक प्रार्थना पत्र पूर्व में कोर्ट के समक्ष पेश किया गया था. इस मामले में तीन दिन 19, 20 और 21 दिसंबर को दोनों ही पक्षों की बहस हुई. वहीं अब कोर्ट ने अपना  फैसला सुरक्षित रख लिया है. एएसजी राजदीपक रस्तोगी ने बताया कि रॉबर्ट वाड्रा व उनकी मां मौरीन वाड्रा पार्टनर महेश नगर की गिरफ्तारी की रोक के बाद यह मामला 82 बार लिस्ट में आया, लेकिन सुनवाई नहीं हो पाई आखिरकार अब इस मामले के फैसले की घड़ी आ गई है. दोनों ही पक्षों की बहस पूरी हो चुकी है, अब राजस्थान हाई कोर्ट का फैसला आएगा. रॉबर्ट वाड्रा  और मां मौरीन वाड्रा ने एक चेक दिया था. इस चेक के द्वारा बिचौलिए महेश नागर ने अपने ड्राइवर के नाम जमीन खरीदकर इस पूरे घोटाले को अंजाम दिया था.


बढ़ सकती हैं रॉबर्ट वाड्रा की मुश्किलें
स्काईलाइट हॉस्पलिटी प्राइवेट लिमिटेड के मैनेजर महेश नागर को कोलायत पुलिस उपयुक्त के समक्ष पेश होने के लिए नोटिस दिया गया. 4.01.2010 ग्राम गजनेर तहसील कोलायत जिला बीकानेर  खसरा नंबर 711/499, 710/499 की 120 बीघा जमीन की अधिकृत प्रतिनिधि के रूप में खरीद कर रजिस्ट्री करवाई गई. स्काईलाइट हॉस्पलिटी प्राइवेट लिमिटेड व रॉबर्ट वाड्रा पर कानून का शिकंजा कस्ता नजर आ रहा हैं. इस समय जमीन स्काईलाइट हॉस्पलिटी प्राइवेट लिमिटेड के नाम हैं. दरअसल, 26.08.2014 को गजेंदर सिंह ने कोलायत पुलिस थाने में एफआईआर दर्ज करवाई . इसमें 12.65 हेक्टर सरकारी जमीन के लिए सरकारी कर्मचारी व अधिकारी व भूमाफिया से सांठगांठ कर दस्तावेज बनाकर खरीद-फरोख्त कर सरकारी जमीन हड़पने के मामले में कोलायत थानाधिकारी बूटा सिंह ने धारा 420, 467, 468, 471, 120B में मामले की जांच कर रिपोर्ट पेश की हैं.




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