Rajasthan News: शादी सात जन्मों का बंधन है, शादी को यादगार बनाने के लिए परिजन सालों पहले ही तैयारियां कर लेते हैं. शादी को लेकर दुल्हा-दुल्हन के भी कई सपने होते हैं. सालों तक लोगों को याद रहे ऐसे कई आयोजन करने का प्रयास हर घर में होता है. रस्मों में नित नए परिधान के साथ खुशियों के हर पल को कैद किया जाता है, लेकिन कई बार नियति को कुछ और ही मंजूर होता है. कभी बैठे बैठाए मुसीबतें घर आ जाती हैं. ऐसा ही एक मामला कोटा में देखने को मिला जब दुल्हन का शादी से महज चंद दिन पहले दोनों हाथ फेक्चर हो गया और वह अस्पताल पहुंच गई.
दरअसल, कोटा के एमबीएस अस्पताल में रविवार को एक अनूठी शादी हुई. एमबीएस अस्पताल में भर्ती एक दुल्हन से शादी करने के लिए दूल्हा बारात लेकर पहुंचा. परिजनों की मौजूदगी में दोनों का विवाह हुआ. इस शादी के गवाह अस्पताल के कॉटेज वार्ड में भर्ती मरीज और दोनों के रिश्तेदार बने. अस्पताल के कॉटेज वार्ड का कमरा बुक करके उसे सजाया गया और यहां ही शादी की रस्में हुई. फिलहाल, दुल्हन का अस्पताल में इलाज चल रहा है. जानकारी के अनुसार कोटा जिले के रामगंजमंडी इलाके के भावपुरा निवासी पंकज की शादी शनिवार को रावतभाटा निवासी मधु राठौर से होनी थी.
वहीं बीते एक सप्ताह से शादी के रस्में दोनों के घरों में चल रही थी. खुशियां अपार थी, सभी नाच गा रहे थे. शनिवार को पंकज की बिंदोरी निकली और रविवार को फेरे होने थे. इसी दौरान दुल्हन मधु रावतभाटा में सीढ़ियों से गिर गई जिससे उनके दोनों हाथ फैक्चर हो गए और सिर में भी गंभीर चोटें आईं. आनन-फानन में उनके परिजन उसे लेकर कोटा पहुंचे. एमबीएस अस्पताल में दुल्हन को भर्ती करवाया गया. उधर पंकज के पिता शिवलाल राठौर और मधु के पिता रमेश राठौर ने बातचीत की जिसके बाद दोनों के विवाह की रस्में अस्पताल में ही करवाना तय किया गया.
अभी अस्पताल में ही चलेगा इलाज
पंकज के कोटा निवासी जीजा राकेश राठौर ने बताया कि दोनों परिवारों ने दुर्घटना के बाद तय किया कि मधु और राकेश का विवाह अस्पताल में ही करवा दिया जाए. इसके लिए उन्होंने पहले कॉटेज में कमरा बुक किया और उसे सजाया गया. वहां पर शादी की रस्में हुई. व्हीलचेयर पर बैठी दुल्हन और दूल्हे ने एक दूसरे को वरमाला पहनाई. इसके बाद पंकज ने मधु को मंगलसूत्र पहनाकर मांग में सिंदूर भरा. हालांकि मधु चल पाने में अभी असमर्थ थी, ऐसे में सात फेरों की रस्म इस दौरान नहीं हो सकी. दुल्हन अगले कुछ दिनों अस्पताल में ही भर्ती रहेगी. ऐसे में दूल्हा और उसके परिवार वाले भी दुल्हन की देखभाल करेंगे.