Rajasthan Education News: अगले साल होगा एजुकेशन इनोवेशन, एग्जाम और सिलेबस में होगा ये बड़ा बदलाव
2023 की परीक्षाओं में भी बदलाव देखने को मिलेंगे. दसवीं के साइंस और मैथ्स में पांच अंकों के प्रश्न और सोशल साइंस में चार अंकों के प्रश्न नहीं रहेंगे. लॉन्ग आंसर क्वेश्चन सिर्फ पांच अंकों के ही रहेंगे.
Rajasthan Education News: अगले साल 2023 में शैक्षिक नवाचार होंगे. सिलेबस और परीक्षा से जुड़े कई बदलाव देखने को मिलेंगे. इसके लिए शिक्षण संस्थानों ने तैयारियां शुरू कर दी है. सेंट्रल बोर्ड ऑफ सेकेंडरी एजुकेशन (CBSE) और महर्षि दयानंद सरस्वती विश्वविद्यालय के साथ प्रदेश के इंजीनियरिंग कॉलेज स्तर पर यह बदलाव किए जाएंगे. समान पाठ्यक्रम, उत्तर देने के तरीके, हिंदी में किताबें, ब्रिज कोर्स जैसे बदलाव देखने को मिल सकते हैं.
इंजीनियरिंग पाठ्यक्रमों में प्रवेश की शुरुआत
तकनीकी शिक्षा विभाग ने इंजीनियरिंग कॉलेज और पॉलीटेक्निक कॉलेज के विभिन्न कोर्सेज के लिए हिंदी की नई किताबें तैयार करवाई हैं. स्टूडेंट्स इन किताबों से अध्ययन कर रहे हैं. मैथ्स और फिजिक्स के बगैर भी स्टूडेंट्स को इंजीनियरिंग पाठ्यक्रमों में प्रवेश देने की शुरुआत हो गई है. बीकानेर टेक्निकल यूनिवर्सिटी और इंजीनियरिंग कॉलेज में कोर ब्रांच के साथ स्पेशल पेपर पढ़ाने की शुरुआत हुई है. इलेक्ट्रॉनिक्स में आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस, मैकेनिकल में रिन्यूएल एनर्जी, ग्रीन एनर्जी, ऑटोनेट (ऑटोमेटिक नेटवर्क डिस्पले), ओवर द टॉप (ओटीटी), सिविल इंजीनियरिंग में स्मार्ट इंजीनियरिंग, इंटरनेट ऑफ थिंग्स (आईओटी) जैसे पेपर शामिल किए हैं. इनकी परीक्षा अगले साल होगी.
सीबीएसई में दिखेंगे यह बदलाव
2023 की परीक्षाओं में भी बदलाव देखने को मिलेंगे. अब दसवीं के साइंस और मैथ्स विषय में पांच अंकों के प्रश्न तथा सामाजिक विज्ञान में चार अंकों के प्रश्न नहीं रहेंगे. लॉन्ग आंसर क्वेश्चन सिर्फ पांच अंकों के ही रहेंगे. बारहवीं कक्षा में रसायन शास्त्र, बायोलॉजी, भौतिकी में चार अंक के प्रश्न नहीं पूछे जाएंगे. प्रश्न का उत्तर देने के लिए शब्द सीमा तय की गई है. दो अंकों के प्रश्नों का उत्तर 30 से 50 शब्द , तीन अंक का प्रश्न 50 से 80 शब्द और लॉन्ग आंसर क्वेश्चन का उत्तर 80 से 120 शब्द में देना होगा.
बन रहे समान सिलेबस
एमडीएस यूनिवर्सिटी के कुलाधिपति कलराज मिश्र ने यूनवर्सिटी में यूजी-पीजी के समान पाठ्यक्रम तैयार कर लागू करने को कहा है. महर्षि दयानंद सरस्वती विश्वविद्यालय को फाइन आर्ट्स और सोशल साइंस, कोटा यूनिवर्सिटी को साइंस और आर्ट्स के समान पाठ्यक्रम तैयार करने की जिम्मेदारी राजस्थान यूनिवर्सिटी को दी है. कॉमर्स, लॉ, मैनेटमेंट के भी समान पाठ्यक्रम तैयार होने हैं. यह 2022-23 अथवा 2023-24 में लागू किए जाएंगे.
च्वॉइस बेस्ड क्रेडिट स्कीम लागू
महर्षि दयानंद सरस्वती विश्वविद्यालय और इससे सम्बद्ध कॉलेजों में आनंदम कोर्स को सेकेंड ईयर, थर्ड ईयर और पोस्ट ग्रेजुएट्स क्लासेज में सत्र 2022-23 से शुरू किया है. बीए, बीकॉम, बीएससी फर्स्ट ईयर और एम.ए. फर्स्ट हाफ के विषयों को जोड़ा जाएगा. यह एक अनिवार्य विषय होगा. पीजी स्तर पर च्वॉइस बेस्ड क्रेडिट स्कीम (सीबीसीएस) भी लागू की है. अगले साल होने वाली परीक्षा इसी पैटर्न पर होंगी.
स्टूडेंट्स को पढ़ना होगा पूरा सेलेबस
वैश्विक कोरोना महामारी की वजह से राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने गत वर्ष कोर्स में करीब 30 से 40 प्रतिशत कटौती की थी. अगले साल होने वाली दसवीं-बारहवीं कक्षा में पूरे कोर्स से परीक्षा होगी. स्टूडेंट्स को पूरा सेलेबस पढ़ना होगा.
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