Rajasthan Phone Tape Case: राजस्थान में चुनी हुई कांग्रेस सरकार पर जुलाई 2020 में आये सियासी संकट के वक्त हुए फोन टेप मामले ने एक बार फिर से तूल पकड़ लिया है. राजस्थान सरकार के पर्यटन मंत्री विश्वेंद्र सिंह ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि "मैं वॉइस सैंपल देने के लिए तैयार हूं " गजेंद्र सिंह शेखावत क्यों झिझक रहे हैं? आप दूसरों पर कीचड़ उछाल रहे हो आप के विरुद्ध मामला दर्ज हमारी सरकार के द्वारा किया गया था एक मामले की दो एफआईआर कैसे हो सकती है.
पर्यटन मंत्री विश्वेंद्र सिंह ने कहा गजेंद्र सिंह मेरे बड़े भाई जैसे हैं बुरा ना माने लेकिन स्पष्ट बोल रहा हूं. गजेंद्र सिंह के लिए कि इनका और मेरा संवाद हुआ बताया जब मानेसर कांड हुआ उसके लिए सीबीआई इंक्वायरी वॉइस टेस्ट देने के लिए राजस्थान पुलिस चार बार जाकर आ गईं. मैं यह पूछना चाहता हूं कि आप क्यों झिझक रहे हो जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत साहब से कि आप दूसरों पर कीचड़ उछाल रहे हैं आप पर खुद पर आरोप लग चुके हैं. हमारी सरकार ने केस रजिस्टर किया है उनके खिलाफ भी और मेरे खिलाफ भी मैं वॉइस टेस्ट देने को तैयार हूं वह वॉइस टेस्ट देने में क्यों झिझक रहे हैं.
जानिए क्या है पूरा मामला
राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार में जुलाई 2020 मैं तत्कालीन उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट गुट के 19 विधायकों के मानेसर चले जाने को लेकर गहलोत सरकार ने सरकार को अस्थिर करने के लिए षड्यंत्र और बगावत करार दिया था. सियासी संकट के वक्त फोन टैपिंग के ऑडियो टेप वायरल हुए थे पायलट गुट की बगावत के बीच तीन ऑडियो टेप जारी किए गए. कांग्रेस ने दावा किया कि इस ऑडियो में जो आवाज है वह केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत राजस्थान के विधायक भंवरलाल शर्मा और व्यापारी संजय जैन की है. जो कथित रूप से सरकार को गिराने व अस्थिर करने की साजिश करते लग रहे हैं.
गजेंद्र सिंह शेखावत ने दिल्ली में दर्ज कराया मामला
इसे लेकर कांग्रेस ने तीनों के खिलाफ एसओजी में केस दर्ज करवाया था राजस्थान सरकार ने जांच के लिए स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम एसआईटी गठित की. इसमें ऐसी बीएसओजी और एटीएस के अधिकारी शामिल किए गए शक के घेरे में केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत आए थे. वहीं केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने मामले को गलत बताते हुए एक मामला दिल्ली में दर्ज करवाया. दिल्ली में दर्ज एफआइआर में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के करीबी लोकेश शर्मा का नाम था.
दिल्ली पुलिस ने मार्च 2021 में फोन टेपिंग का मामला दर्ज किया तब से लोकेश शर्मा से पूछताछ होती रही है. फोन टैपिंग मामले में तब एक नया मोड़ आया, जब केंद्रीय गृह मंत्रालय ने राजस्थान सरकार से इससे जुड़ी रिपोर्ट तलब की. गृह मंत्रालय के पत्र में राजस्थान के मुख्य सचिव से फोन टैपिंग के आरोपों के बारे में रिपोर्ट भेजने को कहा गया था.
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