Rajasthan: SOG की एडिशनल एसपी ने रिश्वत में मांगे 2 करोड़ रुपये, ACB ने जाल बिछाकर ऐसे दबोचा
ASP Divya Mittal Accused of Bribery: परिवादी ने दो करोड़ देने में असमर्थता जाहिर की तो दलाल ने कहा, एक करोड़ से कम नहीं लेंगे. उसके बाद परिवादी ने एसीबी को शिकायत दी.
Rajasthan News: राजस्थान में भ्रष्टाचार चरम सीमा पर पहुंच गया है. यहां एसीबी ने रिश्वत के खेल का बड़ा खुलासा किया है. भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (ACB) की टीम ने अजमेर में बड़ी कार्रवाई को अंजाम देकर अजमेर में एसओजी की एडिशनल एसपी दिव्या मित्तल (Divya Mittal) को घूस लेने के आरोप में पकड़ा है. परिवादी ने आरोप लगाया था कि दिव्या मित्तल ने NDPS एक्ट के मामले में डरा-धमकाकर दलाल के जरिए दो करोड़ रुपए की मांग की थी.
शिकायत के बाद जांच शुरू हुई और आरोपों की पुष्टि होने के बाद एसीबी ने जाल बिछाकर आरोपी महिला एएसपी को धर दबोचा. एसीबी टीम उदयपुर, झुंझुनूं, जयपुर और अजमेर में पांच ठिकानों पर कार्रवाई कर रही है.
एसीबी ने किया यह खुलासा
जयपुर एसीबी के एडिशनल एसपी बजरंग सिंह ने बताया कि एसीबी मुख्यालय को पिछले दिनों सूचना मिली थी कि एसओजी अजमेर में एनडीपीएस एक्ट से संबंधित केस दर्ज है. उस मामले में परिवादी निर्दोष होते हुए भी उसका नाम नहीं रखने की एवज में दो करोड़ की रिश्वत मांगी जा रही है. परिवादी का कहना था कि एसओजी अधिकारी दिव्या मित्तल ने उन्हें बोला कि दलाल का फोन आएगा.
दलाल ने फोन कर परिवादी को उदयपुर बुलाया. वहां एसओजी की एडिशनल एसपी का रिसोर्ट और फार्महाउस है. वहां दलाल ने परिवादी को डरा-धमकाकर दो करोड़ रुपये की रिश्वत मांगी.
इन पांच ठिकानों पर हो रही कार्रवाई
परिवादी ने दो करोड़ देने में असमर्थता जाहिर की तो दलाल ने कहा, एक करोड़ से कम नहीं लेंगे. उसके बाद परिवादी ने एसीबी को शिकायत दी. परिवादी की रिपोर्ट पर वेरिफिकेशन करवाया. आज एसीबी ने कोर्ट से वारंट लेकर इनके पांच स्थानों पर सर्च कार्रवाई कर रहे हैं. अजमेर एसओजी कार्यालय और अजमेर के फ्लैट में पत्रावलियों की जांच की जा रही है. इसके अलावा उदयपुर में रिसोर्ट, जयपुर में फ्लैट, चिड़ावा के घर में भी जांच कार्रवाई जारी है.
50 लाख में तय हुआ था सौदा
एसीबी के एडीजी दिनेश एमएन ने बताया कि परिवादी की हरिद्वार में दवा बनाने की कंपनी है. एसओजी ने उसे केस के सिलसिले में बुलाया और उससे पूछताछ की गई. इसके बाद एक दलाल का कॉल आया और उसने उदयपुर बुलाया. वहां पहले उसने दो करोड़ रुपए मांगे और बाद में एक करोड़ रुपए मांगे. परिवादी ने असमर्थता जताई तो उसे गिरफ्तारी का डर दिखाकर रुपये देने का दबाव बनाया. एसीबी में शिकायत के बाद एएसपी को ट्रेप करने के लिए जाल बिछाया.
परिवादी उनके ऑफिस में जाकर गिड़गिड़ाया तो दिव्या ने 50 लाख रुपए में सौदा तय किया. यह राशि 25-25 लाख रुपए की दो किश्तों में दलाल को देनी थी. एसीबी ने केस दर्ज कर डीवाईएसपी मांगीलाल को जांच सौंपी. उन्होंने इस केस के सिलसिले में कोर्ट से वारंट लिया. एएसपी दिव्या मित्तल और दलाल को हिरासत में लिया है. पता लगा है कि दलाल उदयपुर पुलिस से बर्खास्त कांस्टेबल है.