Rajasthan Tuberculosis Test: देशभर के टीबी रोगियों या खांसी से परेशान लोगों के लिए खुशखबरी की खबर आई है. अब आपके खांसने मात्र पर 3 से 5 सेकंड में आपका ही मोबाइल (Mobile) बता देगा कि आपको टीबी (Tuberculosis) है या नहीं. इसके लिए केन्द्र सरकार के सेंट्रल टीबी डिविजन की तरफ से फील्डी एप विकसित किया जा रहा है. सेंट्रल टीबी डिविजन ने खांसी की आवाज रिकॉर्ड कर संभावित मरीज की पहचान के लिए अध्ययन शुरू किया है. इसके लिए देशभर के जिलों से टीबी रोगियों, उनके संपर्क वाले व्यक्तियों, स्वस्थ व्यक्तियों के खासने की ऑडियो रिकॉर्डिंग मंगाई है. इसके लिए हर जिला हॉस्पिटल में टेस्टिंग शुरू हो गई है. 


आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस बेस्ड एप है फिल्डी
डूंगरपुर जिला हॉस्पिटल की क्षय रोग अधिकारी डॉ करिश्मा पांचाल ने बताया कि फिल्डी एप एक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस बेस्ड एप है. टीबी रोगों और स्वस्थ व्यक्ति के खांसने की फ्रिक्वेंसी में अंतर होता है. एडवांस नैनो टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर एप 3 से 5 सेकेंड में परिणाम बताता है. फिल्डी एप खांसने की ऑडियो फ्रिक्वेंसी के आधार पर रोग का पता लगाएगा. अगर एप पॉजिटिव रिपोर्ट देता है तो संबंधित व्यक्ति के रोग को सत्यापित कर इलाज शुरू किया जाएगा. रोगी अपने मोबाइल में एप डाउनलोड कर घर पर ही स्वयं की जांच कर सकेगा.


देशभर से मंगवा रहे सैंपल
सेंट्रल टीबी डिविजन में देशभर के जिलों से रोगियों की ऑडियो रिकॉर्डिंग मंगाकर उसे एप की प्रोग्रामिंग में शामिल किया जा रहा है. इसे लेकर शोध चल रहा है, जल्द ही फील्डी एप लांच किया जाएगा.


ये है प्रोसेस 
डॉ करिश्मा पांचाल ने बताया कि केंद्र सेंटर पर ऑडियो भेजने के लिए प्रशिक्षित अधिकारी, सुपरवाइजर टीबी के चिन्हित व्यक्ति के घर गए और 7 वर्ष से अधिक उम्र के टीबी मरीजों, संभावित और संपर्क में रहे लोगों की आवाज रिकॉर्डिंग की. एप में आवाज रिकॉर्ड करने से पहले संबंधित व्यक्ति, मरीज का पूरा डाटा भरा गया और फिर चार चरणों में रिकॉर्डिंग की गई. पहला, एक से दस तक गिनती, दूसरा, खांसी की आवाज, तीसरा आ, ई, ऊ तीन शब्दों को तीन-तीन बार बोलने, चौथा रिकॉर्डिंग के दौरान बैकग्राउंड आवाज रिकार्ड की जा रही है.


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