Udaipur News: देश में कई खदाने हैं और माइनिंग के काम में हजारों श्रमिक काम करते हैं. माइनिंग के दौरान कई हादसे होते भी देखे है. खदानों में हादसा होने के बाद श्रमिक अंदर की फंस जाते हैं और उनसे संपर्क भी टूट जाता है. रेस्क्यू करने में परेशानियों का सामना करना पड़ता है. इसी समस्या को दूर करने के लिए उदयपुर के 10वीं कक्षा के छात्र ने श्रमिकों के लिए एक कैप को डिजाइन किया है. खास बात यह है कि इस कैप का राष्ट्रीय स्तर की इंपायर अवार्ड में चयन किया गया है. जानिए क्या है खासियत.

 

खदानों में हादसों के बारे में सुना तो बनाई कैप

 

इस कैप को बनाया है उदयपुर के मावली तहसील के फतहनगर निवासी 10वीं कक्षा के छात्र हर्षिल शर्मा ने. हर्षिल ने एबीपी को बताया कि उदयपुर में खदानें काफी है. ऐसे में देश में खदानों के कई हादसों के बारे में सुना जिसमें श्रमिक फंस जाते हैं और उनसे संपर्क भी टूट जाता है.

इसी समस्या को दूर करने के लिए इस कैप का डिजाइन करना शुरू किया. तैयार करने के बाद जिला स्तरीय इंस्पायर अवार्ड प्रदर्शनी में लगाई थी. अहमदाबाद से टीम आई थी जिन्होंने कुछ अपडेट करने की कहा. फिर उसे अपडेट कर राज्य स्तरीय अवॉर्ड प्रदर्शनी में लगाया जिसे पसंद किया गया और राष्ट्रीय स्तर पर चयन हुआ. अब दिल्ली में अवॉर्ड प्रदर्शनी होगी जिसमें चयन किया गया है.

 

यह है खासियत इस कैप की

 

हर्षिल ने बताया कि इस कैप में मोशन सेंसर, कैमरा, जीपीएस और ऑडियो सिस्टम लगाया गया है. खदान में हादसे के बाद राउटर लगा दिया जाएगा तो अंदर तक इसी कैप के माध्यम से संपर्क भी हो पाएगा और बात भी हो जाएगी. साथ ही एक - एक श्रमिक की लोकेशन के बारे में पता चल पाएगी. खदान में मोबाइल अनुमति नहीं होती है ऐसे में यह कैंप काफी मदद देगी.