Rajyavardhan Singh Rathore on Gehlot Government: बीजेपी सांसद राज्यवर्धन सिंह राठौड़ (Rajyavardhan Singh Rathore) ने अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) सरकार पर जमकर हमला बोला है. उन्होंने कहा कि बालोतरा में अनुसूचित जाति की महिला के साथ रेप के बाद ज्वलनशील पदार्थ डालकर मारा गया. गहलोत सरकार एक संदेश दे रही है कि महिला हैं तो पूरी तरह से असुरक्षित हैं. सरकार से सुरक्षा की उम्मीद करना बेकार है, यह उदयपुर के कन्हैया लाल के हत्यारों की सरकार है, यह पत्थरबाजों की सरकार है, जयपुर बम ब्लास्ट के आरोपियों को बरी करने वाली सरकार है, अलगाववादियों का साथ देने वाली सरकार है, सरकार के खराब रवैये से राजस्थान की साख को बट्टा लगा है.
सांसद राज्यवर्धन ने कहा कि प्रदेश के लोगों में सरकार के प्रति गुस्सा है, जो डर अपराधियों में होना चाहिए वह डर प्रदेश की महिलाओं में है. अपराधी खुलेआम घूम रहे हैं, जबकि गहलोत सरकार अपने आकाओं की सुरक्षा और झूठी वाहवाही के पोस्टर लगाने में व्यस्त हैं. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत राहुल गांधी को लेकर आंदोलनों में जाते हैं, लेकिन राजस्थान की जनता के लिए खड़े नहीं होते हैं. कांग्रेस वोट बैंक के लिए रेप के मामले पर कोई बहाना लगा कर पल्ला झाड़ लेती है.
सरकार पर लगाया तुष्टिकरण का आरोप
सांसद राज्यवर्धन सिंह राठौर ने कहा कि तुष्टीकरण की पराकाष्ठा हो चुकी है. जब तुष्टीकरण का विरोध बहुसंख्यक समाज करता है तो उन्हें झूठे मुकदमों का सामना करना पड़ता है, धारा 144 लगाकर धार्मिक सौहार्द की बात करती है. उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार पत्थरबाजों को संरक्षण दे कर बीजेपी को जिम्मेदार ठहराती है. गहलोत सरकार बताए कि बच्च्यिों और महिलाओं को सुरक्षा न देने के लिए कौन जिम्मेदार है.
बीजेपी सांसदा ने कहा कि सरकार झूठा ढोल पीट रही है कि महिला अपराध रोकने के लिए एफआईआर दर्ज हो रही है, फिर भी बालोतरा रेप मामले में 24 घंटे तक मामले को दबाकर रखा गया. दो दिन तक एफएसएल की टीम नहीं पहुंची, तो फॉरेंसिक जांच नहीं हुई. जब मामला मीडिया के सामने आया और जनता का दबाव बना तब सरकार हरकत में आई. महिला रेप की घटना हो जाने के बाद मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और उनके मंत्री गैर जिम्मेदाराना और बेतुके बयान देते हैं.
सांसद राज्यवर्धन ने कहा कि केंद्र सरकार ने 2018 में 12 वर्ष से छोटी बालिकाओं के साथ हो रहे रेप के आरोपियों के लिए सजा-ए-मौत का कानून बनाया. 2019 से 2022 तक प्रदेश में 12 वर्ष से छोटी बालिकाओं के साथ रेप के बाद हत्या के 93 फीसदी मामले बढे. साल 2022 में गैंगरेप के 1337 केस दर्ज हुए और 2022 में कुल सात हजार से भी अधिक रेप के मामले सामने आए. उन्होंने कहा कि राजस्थान में प्रतिदिन 109 महिलाएं उत्पीड़न, रेप, हत्या, हत्या का प्रयास, अपहरण, छेड़छाड़ इत्यादि के मामले दर्ज हो रहे हैं.
प्रियंका गांधी नहीं आई राजस्थान
बीजेपी विधायक अनिता भदेल रेप की घटना के बारे में कहा कि सामाजिक समरसता को लेकर कांग्रेस बात करती है, वहीं दूसरी ओर अनुसूचित जाति की महिलाओं पर उत्पीड़न के मामले बढने से प्रदेश की महिलाएं सुरक्षित नहीं हैं. 6 अप्रैल को दोपहर 1.30 बजे घटना होने के बाद महिला को सरकारी अस्पताल भर्ती कराया गया. सरकारी अस्पताल की व्यवस्थाएं दुरुस्त न होने के कारण परिजन महिला को प्राइवेट अस्पताल लेकर गए. उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार राइट टू हेल्थ बिल की बात करती है, जबकि सरकारी अस्पतालों की दशा देखी जा सकती है.
उन्होंने सवाल किया कि सरकारी अस्पताल ने समय पर पीड़िता को रेफर क्यों नहीं किया? 24 घंटे बाद भी पुलिस और प्रशासन ने पीड़िता की कोई सुध नहीं ली, समय पर रेफर कर दिया होता तो चार बच्चे अपनी मां को नहीं खोते. क्या यह मुआवजा उन बच्चों की मां की पूर्ति कर देगा. सरकार उस व्यक्ति की पत्नी की पूर्ति नहीं कर पाएगा.
उन्होंने कहा कि आमजन और बीजेपी के लोगों ने इसे लेकर प्रोटेस्ट किया, लेकिन गहलोत सरकार पूरी तरह राहुल गांधी की गुलामी करने में व्यस्त हैं. क्या प्रियंका गांधी कहती हैं ‘‘लड़की हूं लड़ सकती हूं" एक बार भी प्रियंका गांधी राजस्थान नहीं आईं. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी और प्रियंका गांधी का केवल राजनीति करना ही उद्देश्य है.
ये भी पढ़ें: Satya Pal Malik Exclusive: चुनाव नहीं लड़ूंगा लेकिन कांग्रेस-सपा-RLD के पक्ष में 2024 में करूंगा कैंपेन: सत्यपाल मलिक