जोधपुर विवि में फीस बढ़ोतरी को लेकर रविंद्र सिंह भाटी ने खड़े किए सवाल, कहा- ‘छात्रों को आर्थिक रूप से न तोड़ें’
Jodhpur University: जोधपुर विश्वविद्यालय में फीस बढ़ोतरी को लेकर विधायक रविंद्र सिंह भाटी ने सवाल खड़े किए. उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों के साथ ऐसा कुठाराघात होता है तो दुख और पीड़ा होती है.
Rajasthan News: राजस्थान की शिव विधानसभा सीट से निर्दलीय विधायक रविंद्र सिंह भाटी ने जोधपुर विश्वविद्यालय में फीस बढ़ोतरी को लेकर सवाल खड़े किए. मैंने राजनीतिक जीवन की शुरुआत बतौर छात्रसंघ अध्यक्ष जोधपुर विश्वविद्यालय से की थी. 36 कौम के युवाओं ने साधारण परिवार से आने वाले युवा पर भरोसा जताया. 57 साल के इतिहास में पहली बार एक निर्दलीय को चुनकर प्रदेश की सबसे बड़ी पंचायत तक पहुंचाया. 13 सितंबर को पहली बार मैंने युवाओं की फीस बढ़ोतरी को लेकर राजस्थान विधानसभा का घेराव किया था. एक दिन पहली बार मैं राजस्थान की विधानसभा में आया था.
‘विद्यार्थियों पर आर्थिक बोझ डाला गया’
रविंद्र सिंह भाटी ने आगे कहा कि मैंने देखा कि कुछ छात्र आज जयपुर में प्रदर्शन कर रहे थे क्योंकि नई शिक्षा नीति की तहत उनकी फीस में बहुत ज्यादा इजाफा किया गया है. अमूमन 10 फीसदी से ज्यादा कही की भी फीस को बढ़ाया नहीं जा सकता. राजभवन का आदेश का पालन होता है और कुलाधिपति के आदेश की पालना करना उनका कर्तव्य होता है. लेकिन बड़े दुख की बात है कि जोधपुर विश्वविद्यालय में इन आदेशों की पालना नहीं की गई. ग्रामीण परिवेश से आने वाले विद्यार्थियों पर आर्थिक बोझ डाला गया. जो विशेषकर मेरे लिए पीड़ा की बात है क्योंकि मैं उसी विश्वविद्यालय से निकला हूं. इस बार ऑनलाइन फॉर्म के नाम पर हर स्टूडेंट से 5 से 6 हजार रुपये ज्यादा लिए जा रहे है. विद्यार्थियों के साथ ऐसा कुठाराघात होता है तो दुख और पीड़ा होती है.
‘छात्रों को आर्थिक रूप से न तोड़ें’
विधायक भाटी ने कहा पहले वार्षिक परीक्षा होती थी तो साल में एक बार फीस ली जाती थी अब हर छह महीने में फीस ली जा रही है. पहले जो फीस 3 हजार थी उसे बढ़ाकर 6 से 8 हजार कर दिया गया है. उन्होंने कहा जो छात्रों पर आर्थिक बोझ डाला जा रहा है उनकी मैं निंदा करता हूं साथ ही विश्वविद्यालय प्रशासन से कहा कि आप छात्रों को आर्थिक रूप से न तोड़ें, छात्रों को आने वाले समस्याओं का निवारण करें.
विधायक भाटी ने कहा कि मैं छात्र राजनीति से आया हूं, उन सभी से मेरा गहरा जुडाव रहा है. क्योंकि उनकी बदौलत मैं यहां खड़ा हूं. निश्चित तौर पर उनकी बात को मजबूती से रखूंगा. आने वाले समय में जरूरत पड़ी तो प्रदेश की सबसे बड़ी पंचायत में इस बात को रखा भी जाएगा.
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