Rajasthan News: सिरोही जिले के रेवदर उपखण्ड क्षेत्र में चिकित्सा व स्वास्थ्य विभाग की टीम ने मिठाई की दुकानों से मावे के सैंपल लिए. यह पूरी कार्रवाई चिकित्सा महकमे के फूड इंस्पेक्टर दिलीप सिंह यादव के नेतृत्व में की गई.


दिलीप सिंह यादव ने बताया कि रेवदर में दो जोधपुर मिष्ठान भंडार की दुकानों और मंडार में तीन बत्ती चौराहे पर स्थित मिठाई की दुकान पर नमूना लेने की कार्रवाई की गई. सैंपल को जांच के लिए जोधपुर भिजवाया गया है. जांच रिपोर्ट आने के बाद अग्रिम कार्रवाई की जाएगी. इस दौरान नायब तहसीलदार पुखराज रावल भी मौजूद रहे. चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की टीम की कार्रवाई के बाद मिलावटखोरों में हड़कंप मच गया.


जांच रिपोर्ट आने में लगता है समय
दीपावली के सीजन में मिठाइयों की खूब बिक्री होती है. हालांकि त्योहारी सीजन के दौरान चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा नमूना लेने कि कार्रवाई तो की जाती है, लेकिन जांच रिपोर्ट कई दिनों तक नहीं आती है. सैंपल लैबोरेटरी तक तो पहुंच जाते हैं, लेकिन लैबोरेटरी से कई महीनों तक सैंपल की जांच रिपोर्ट नहीं आती है. जिससे दीपावली सीजन में बनाया गया माल खत्म हो जाता है. ऐसे में मिलावटखोरों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो पाती है. उनके हौसले बुलंद नजर आते हैं.


आबूरोड सहित अन्य क्षेत्र में मिलावटी मावा की आशंका
आबूरोड क्षेत्र सहित जिले में गुजरात और बीकानेर से भारी मात्रा में नकली मावा आने की आशंका जाहिर की जा रही है. दरअसल यह मावा 130 रूपये किलो आता है, ऐसे में आप सहज ही अनुमान लगा सकते हैं कि उसकी गुणवत्ता किस स्तर की होंगी.


मिलावटी मावा सेहत के लिए है नुकसानदायक
मिलावटी मामा सेहत के लिए नुकसानदायक होता है. सिंथेटिक दूध से बनाए गए मावे से बीमारियां होने की संभावना रहती है. मिलावटखोर ज्यादा मुनाफा कमाने के चक्कर में कई प्रकार कि मिलावट करके नकली मावा तैयार करके बाजारों में त्योहारी सीजन में सप्लाई करने का काम करते हैं.


सिरोही से तुषार पुरोहित कि रिपोर्ट.


ये भी पढ़ें: लॉरेंस बिश्नोई गैंग से धमकी के बाद पप्पू यादव के समर्थन में उतरी करणी सेना, 'एक सांसद होकर कम से कम वो...'