Rajasthan News: राजस्थान के उदयपुर (Udaipur) एसीबी ने संभाग के डूंगरपुर जिले (Dungarpur District) में शुक्रवार दोपहर को कार्रवाई करते हुए बैंक मैनेजर और क्लर्क को गिरफ्तार किया है. दोनों ने डेढ़ लाख रुपए की रिश्वत मांगी थी. जिसे लेते हुए एसीबी ने रंगे हाथों दबोच लिया. बड़ी बात यह है कि दोनों आरोपी यह रिश्वत राशि एक सरकारी कर्मचारी से ही मांग रहे थे. जो कि सरकारी भवन के निर्माण के लिए राज्य सरकार से पास हुई थी.
एसीबी ने दोनों को गिरफ्तार कर मुख्यालय उदयपुर लेकर आए जिन्हें शनिवार को कोर्ट में पेश किया जाएगा. आरोपी मितार्थ श्रीमाली है जो डूंगरपुर के शिवाजी नगर में रहता है और अभी दी डूंगरपुर सेन्ट्रल को-ऑपरेटिव बैंक के प्रधान कार्यालय में प्रबंधक पड़ पर है. वहीं दूसरा आरोपी विकास गुप्ता है जो हरियाणा का रहने वाला है और जिले के सेन्ट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड शाखा कनबा में मूल पद क्लर्क (चार्ज कार्यवाहक शाखा प्रबंधक) पर है.
लेम्प्स अधीक्षक से मांगी रिश्वत
एसीबी डीआईजी राजेन्द्र प्रसाद गोयल ने बताया कि परिवादी जिले के खजूरी लैम्प्स अधीक्षक देवी लाल डामोर ने कार्यालय लिखित शिकायत पेश कर अंकित किया कि खजूरी लेम्पस के भवन निर्माण हेतु वर्ष 2015-16 के बजट में सहकारिता विभाग द्वारा 10 लाख रुपये की राशि स्वीकृति हुई थी. उक्त भवन निर्माण के स्वीकृत बजट में से 2 लाख रुपये शेष थे. जिसके भुगतान के बिल पास करने की एवज में दी डूंगरपुर सेन्ट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लि० डूंगरपुर की मुख्य शाखा के प्रबंधक मितार्थ श्रीमाली और शाखा कनबा जिला डूंगरपुर के प्रबंधक विकास गुप्ता रिश्वत की मांग कर रहे हैं. एसीबी ने मामले का सत्यापन कराया और दोनों को रिश्वत लेते दबोचा.
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दोनों ने अलग-अलग मांग की
दोनों आरोपियों ने एक ही मामले को लेकर अलग-अलग राशि की मांग की थी. बैंक मैनेजर ने 1,25,000 और क्लर्क ने 25,000 रुपये की मांग की थी. 7 जुलाई को शिकायत की थी और एसीबी ने एक ही दिन में सत्यापन कर दोनों आरोपियों को कनबा बैंक शाखा में दबोच.