Boy Suicide In Jail: उदयपुर के करीब ग्रामीण क्षेत्र में आने वाला परसाद थाने के हवालात में एक युवक ने जूते की लेस से फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. युवक की गिरफ्तारी नहीं थी, उसे गुमशुदगी के मुकदमे में डिटेन किया गया था और पूछताछ की जा रही थी. इसी दौरान उसे महिला बैरक में बैठाया गया तो उसने फांसी लगा दी. जैसे ही पुलिस को फांसी की सूचना मिली तो पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया.


थाने पर उच्चाधिकारी सहित बड़ी संख्या में पुलिस जाब्ता पहुंचा, क्योंकि मृतक युवक के परिजनों ने थाने का घेराव कर लिया था. अब गुरूवार को दिन में भी लोगों ने थाने के घेराव की चेतावनी दी है. थाने में आत्महत्या करने वाले युवक का नाम 28 साल के अर्जुन पुत्र केवजी मीणा है और वह ग्रामीण क्षेत्र के झल्लारा का रहने वाला है. दरअसल तीन माह पहले परसाद थाना क्षेत्र निवासी भगू मीणा ने थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी. रिपोर्ट पत्नी की गुमशुदगी की थी जिसमें मृतक अर्जुन पर आरोप थे कि वह पत्नी को लेकर गया है.


जूते के लेस का फंदा बनाकर लगाई फांसी


बता दें कि पुलिस महिला की तलाश कर ही रही थी कि अर्जुन पुलिस के हत्थे चढ़ गया और उसके साथ महिला भी थी. पुलिस दोनों को थाने ले आई. महिला के मिलने की सूचना पति को दी जिससे पति थाने आया. वहीं युवक अर्जुन को बैरक में बन्द कर दिया गया. फिर पुलिस ने महिला और उसके पति से बातचीत और पूछताछ शुरू की. पुलिस महिला और पति से पूछताछ कर ही रही थी कि अर्जुन को भी बुलाने के लिए कांस्टेबल बैरक के पास पहुंचा. अचानक कांस्टेबल के चिल्लाने की आवाज आई. उसने देखा कि हवालात में बंद अर्जुन ने जूते के फीते निकालकर फंदा बनाया और झूल गया. उसे फंदे से उतार हॉस्पिटल लेकर गए जहां डॉक्टर ने मृत घोषित कर दिया.


मृतक का परिवार कर रहा प्रदर्शन


बाद में शव को उदयपुर के सबसे बड़े एमबी हॉस्पिटल की मोर्चरी में शिफ्ट कराया गया. घटना के बाद अर्जुन का परिवार ग्रामीणों के साथ थाने पर पहुंचा और प्रदर्शन करने लगा. भीड़ को देख अतिरिक्त पुलिस लगानी पड़ी. हालांकि मामला अभी शांत नहीं हुआ है. अभी ग्रामीणों का प्रदर्शन जारी है. अहम सवाल यह उठ रहा है कि आखिर ऐसा क्या हुआ कि युवक ने फांसी लगा ली. इस मामले को लेकर पुलिस पर संदेह जताया जा रहा है.


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