Udaipur: उदयपुर में प्रेमी-प्रेमिका को जिंदगी भर की जेल, खिचड़ी में नशीली दवा डालकर ली थी पति की जान
Udaipur: प्रभुलाल ने बहू नीलम और उसके प्रेमी कैलाश पर हत्या की शंका जताई थी. पुलिस ने नामजद आरोपियों को पकड़ा तो घटना का असल कारण सामने आया. फिर पुलिस ने दोनों आरोपियों के गिरफ्तार किया.
Rajasthan News: उदयपुर (Udaipur) जिले की कोर्ट ने एक हत्या के मामले में महिला और पुरुष को उम्रकैद की सजा सुनाई है. उदयपुर में यह केस काफी चर्चाओं में रहा, क्योंकि इसके पीछे की कहानी ही कुछ ऐसी थी. इसमें जिस महिला-पुरुष को जेल हुई वह प्रेमी-प्रेमिका है. प्रेमीका प्रेमी के साथ मिलकर चावल की खिचड़ी से पति की हत्या की. मामला करीब 6 साल पुराना है. ये मामला उदयपुर जिले के मांडवा थाना क्षेत्र का है. कोर्ट के आदेश के बाद प्रेमी-प्रेमिका को जेल में भेज दिया गया है.
उदयपुर जिले के मांडवा थाना क्षेत्र के विकरणी गांव में 5 अगस्त 2017 को एक व्यक्ति की हत्या का मुकदमा दर्ज हुआ था. यह मुकदमा प्रभुलाल शर्मा ने दर्ज कराया था, जिसके बेटे नरेंद्र शर्मा की हत्या हुई थी. प्रभुलाल शर्मा ने अपनी शिकायत में कहा था कि उनका बेटा नरेंद्र 5 अगस्त की शाम घर में संध्या पूजन कर रहा था. इसके कुछ देर बाद ही हंगामा हुआ और पड़ोसी मौके पर पहुंचे. तब नरेंद्र रसोई के फर्श पर पड़ा था. बाद में उसकी मौत हो गई.
पुलिस पूछताछ में सामने आई घटना की सच्चाई
प्रभुलाल ने बहू नीलम और उसके प्रेमी कैलाश पर हत्या की शंका जताई थी. पुलिस ने नामजद आरोपियों को पकड़ा तो घटना का असल कारण सामने आया. फिर पुलिस ने दोनों आरोपियों के गिरफ्तार किया और उनके खिलाफ कोर्ट में चार्जशीट पेश की. पुलिस पूछताछ में सामने आया कि नीलम घटना के दो साल पहले चाचा के साथ सिरोही गई थी. वहां एक होटल मैनेजर कैलाश से बातचीत शुरू हुई जो प्यार में बदल गई. इन दोनों के संबंधो के बारे में पति सहजत परिवार को जानकारी हो गई थी.
नीलम ने कैलाश को पाने के लिए पति नरेंद्र को ही रास्ते से हटाने की साजिश रची. दोनों ने घटना से तीन दिन पहले तक कई बार बात की. घटना के दो दिन पहले ही नीलम अपने घर आई थी. घटना के दिन कैलाश भी आ गया था. नरेंद्र नशे की दवाइयों का आदि था. नीलम ने नशीली दवा खिचड़ी में डालकर मिक्स कर दी, जिसे खाने के बाद नरेंद्र बेहोश हो गया. बेहोशी में उसका गला रस्सी से दबा कर हत्या कर दी गई. इसके बाद हत्या को आत्महत्या का रूप दिया गया. इसके बाद नीलम अपने बच्चों को लेकर स्कूटी से सिरोही चली गई.