Rajasthan News: देशभर में वर्ष के अंत और आने वाले वर्ष का स्वागत हर जगह धूमधाम से किया जाता है लेकिन राजस्थान के झीलों की नगरी उदयपुर (Udaipur) में इस बार कुछ अलग अंदाज में वर्ष के अंत को मनाया जाएगा. यहां दिसंबर में कई विश्व स्तरीय इवेंट होने जा रहे हैं जिसकी तारीखें कन्फर्म हो चुकी हैं. यही नहीं पर्यटन विभाग के अधिकारियों की मानें तो अलग-अलग राज्यों के लोगों ने इंक्वायरी शुरू भी कर दी है. ऐसे में माना जा रहा है कि इसबार दिसंबर में उदयपुर में बड़ी संख्या में पर्यटक आएंगे. इधर G-20 देशों की अध्यक्षता 1 दिसंबर से भारत के पास आने के बाद एक साल में होने वाले चार बड़े शेरपा सम्मेलन में से पहला उदयपुर में हो रहा है. इसमें भी उदयपुर को एक अलग पहचान मिलेगी.
तीन बड़े फेस्टिवल
उदयपुर में इस बार दिसंबर में तीन बड़े और एक थर्टी फर्स्ट का फेस्टिवल होने जा रहा है. इसमें 1 दिसंबर से तीन दिन तक राजसमन्द जिले में कुम्भलगढ़ फोर्ट में कुम्भलगढ़ फेस्टिवल होगा. इसके बाद 16 से 18 दिसंबर तक वर्ल्ड म्यूजिक फेस्टिवल और फिर 21 दिसंबर से 10 दिन तक शिल्प ग्राम मेले का आयोजन होगा. इसके बाद अलग ही अंदाज में कई जगह थर्टी फर्स्ट की धूम मचेगी. इसके लिए अभी महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, गुजरात और दिल्ली से इंक्वायरी शुरू हो गई है. पर्यटन विभाग की उपनिदेशक शिखा सक्सेना ने बताया कि शेरपा सम्मेलन से उदयपुर को एक पहचान मिलेगी जिसके बाद होने जा रहे इन फेस्टिवल में पर्यटकों का फुटफॉल बढ़ेगा.
कौन-कौन से फेस्टिवल होंगे?
- 1 से 3 दिसंबर तक कुंभलगढ़ फेस्टिवल होगा जिसकी तैयारियां अंतिम चरण में हैं. तीन दिन तक दोपहर में पारंपरिक वेशभूषा में सजे कलाकार लोक नृत्यों की प्रस्तुति देंगे. शाम को संगीत गायन और वाह्य प्रस्तुतियां होंगी. इनके अलावा भी कई तरह के इवेंट होंगे.
- 16 से 18 दिसंबर तक वर्ल्ड म्यूजिक फेस्टिवल होगा जिसमें भारत जिंबाब्वे, पुर्तगाल, कोलम्बिया, इटली, चिली, पनामा आदि देशों के 100 कलाकार हिस्सा लेंगे. फेस्टिवल के दौरान आमेट की हवेली में भजन गायन, फतहसागर पाल और गांधी ग्राउंड पर पब्लिक कंसर्ट, रेलवे स्टेशन पर राजस्थान शोकेस, एयरपोर्ट पर वेलकम कंसर्ट, राजस्थान शोकेस होगा.
- पश्चिम क्षेत्र सांस्कृतिक केंद्र से 21 से 30 दिसंबर शिल्पग्राम महोत्सव होगा. फतहसागर के दूसरे छोर पर हवाला स्थित परिसर में इसकी तैयारियां जोरों पर हैं. झोपड़ियों में रंगरोगन के अलावा छतों दीवारों को मजबूत करने और संवारने के काम चल रहे हैं. इसमें राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्र, ओडिशा, मध्य प्रदेश सहित कई राज्यों के लोक कलाकार प्रस्तुतियां देंगे.