Rajasthan News: वित्त मंत्री निर्मला सीतारामन (Nirmala Sitharaman) ने वित्त वर्ष 2023-24 के लिए आज बजट पेश किया. इस दौरान उन्होंने कई अहम घोषणाएं की. वित्त मंत्री द्वारा पेश किये गए बजट पर हर तरफ से प्रतिक्रयाएं आनी शुरू हो गई हैं. राजस्थान (Rajasthan) सीएम और कांग्रेस नेता अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) ने बजट (Budget) को आमजन विरोधी बताते हुए मोदी सरकार पर निशाना साधा है.


उन्होंने कहा कि बजट में केवल मीडिया में हेडलाइन बनाने वाले जुमलों का प्रयोग किया गया है, लेकिन गरीब लोगों के लिए कोरोना काल में संजीवनी साबित हुई महात्मा गांधी नरेगा जैसी योजनाओं में केन्द्र सरकार द्वारा इस योजना में वर्ष 2023-24 का बजट प्रावधान 33 प्रतिशत (लगभग राशि रुपये 30,000 करोड़) कम करना साबित करता है कि यह बजट गरीब, भूमिहीन किसान, एवं आमजन विरोधी है.


'कृषि और किसानों को लेकर की गईं थोथी घोषणाएं'


सीएम गहलोत ने कहा कि इस बजट में कृषि एवं कृषक कल्याण से संबंधित बहुत सारी थोथी घोषणाएं की गई हैं. उन्होंने कहा कि कृषि एवं कृषक कल्याण मंत्रालय के बजट में पिछले वर्ष से लगभग 6 प्रतिशत (लगभग  7,500 करोड़ रुपए) कम राशि का प्रावधान किया गया है. इसी प्रकार यूरिया सब्सिडी मद में गत वर्ष की तुलना में 15 प्रतिशत (लगभग 23,000 करोड़ रुपए) की उल्लेखनीय कमी कर दी है.


'शिक्षा, स्वास्थ्य के बजट में की गई नगण्य वृद्धि'


इसके साथ ही उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार द्वारा शिक्षा, स्वास्थ्य, सामाजिक न्याय एवं महिला एवं बाल विकास जैसे महत्वपूर्ण क्षेत्रों की उपेक्षा करते हुए गत वर्षों की तुलना में इस बजट में नगण्य वृद्धि की गई है. 


'महंगाई कम करने को लेकर कोई पॉलिसी नहीं'


कांग्रेस नेता ने कहा कि समस्त देश विगत वर्षों से मंहगाई से त्रस्त है, आम आदमी के प्रतिदिन काम में आने वाले आटा, दालों, तेल, साबुन आदि की कीमतों में काफी वृद्धि हुई जिससे आम आदमी का जीवनयापन दूभर हुआ. मंहगाई को कम करने के संबंध में कोई पॉलिसी स्टेटमेंट नहीं आने से आम आदमी का जीवन और भी मुश्किल होगा.


'बजट में राजस्थान की जनता के साथ हुआ सौतेला जैसा व्यवहार'


सीएम ने कहा कि केन्द्रीय बजट की यदि राजस्थान के संदर्भ में बात की जाये तो यह बजट प्रदेश के लिए घोर निराशाजनक रहा. राजस्थान राज्य के विकास से संबंधित महत्वपूर्ण परियोजना ERCP को राष्ट्रीय दर्जा देने की हमारी वाजिब मांग को केन्द्र सरकार द्वारा स्वीकार नहीं किये जाने से प्रदेशवासियों को निराशा हुई है जबकि चुनावों को ध्यान में रखते हुए कर्नाटक राज्य को उपरी भद्रा परियोजना के लिए अतिरिक्त सहायता के रूप में 5,300 करोड़ रुपए की राशि उपलब्ध कराया जाना केन्द्र का राजस्थान के प्रति मोदी सरकार के सौतेले व्यवहार को दिखाता है. उन्होंने कहा कि राजस्थान की जनता इस सौतेले व्यवहार का समय आने पर माकूल जवाब देगी.


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