अयोध्या. श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य अनिल मिश्रा ने राम मंदिर निर्माण को लेकर बड़ी बात कही है. उन्होंने मंदिर निर्माण को लेकर साफ किया कि 15 अक्टूबर के आसपास राम मंदिर की बुनियाद के लिए 1200 पिलर के निर्माण का कार्य शुरू हो जाएगा. यह काम जून 2021 तक पूरा हो जाएगा. इसके बाद बुनियाद के ऊपर का कार्य शुरू होगा.


1200 पिलर्स का किया जाएगा निर्माण


आपको बता दें कि मौजूदा समय में जिस स्थान पर राम मंदिर का निर्माण होना है, वहां पर टेस्ट पिलर का कार्य चल रहा है. इसके लिए तीन पिलर का निर्माण किया जा रहा है जिसकी टेस्टिंग का कार्य पूरा होने के बाद 15 अक्टूबर से अन्य पिलर्स निर्माण का कार्य शुरू किया जाएगा. पिलर टेस्टिंग का यह पूरा काम आईआईटी रुड़की और आईआईटी चेन्नई की देखरेख में किया जा रहा है. इसमें भूमि की मजबूती और भार सहने की क्षमता का भी आंकलन किया जा रहा है. ट्रस्ट की मानें तो एक बार टेस्टिंग का कार्य पूरा होने के बाद राम मंदिर निर्माण कार्य में तेजी आएगी और जून 2021 तक मंदिर के लिए आवश्यक 1200 पिलर्स का निर्माण कर लिया जाएगा. इसके बाद बुनियाद का फाउंडेशन तैयार करके मंदिर का ऊपरी हिस्सा तैयार करने का कार्य शुरू हो जाएगा. ऐसा माना जाता है कि 2022 में राम जन्मभूमि मंदिर के एक तल का कार्य पूरा हो जाएगा जिसके बाद दूसरे तल का निर्माण शुरू होगा.



मंदिर की आयु हजार वर्ष होगी


अनिल मिश्रा ने बताया कि टेस्ट पिलर का निर्माण हो रहा है. आगे 1200 पिलर का निर्माण होगा. उसके बाद इसके ऊपर एक प्लेटफार्म बनेगा. एक क्राफ्ट का प्लेटफार्म बनेगा उस प्लेटफार्म के ऊपर 6 फुट का ढांचा बनेगा उसके बाद उसके ऊपर मंदिर के पत्थर रखे जाएंगे और फिर मंदिर का निर्माण होगा. मंदिर 1200 पिलर के ऊपर होगा, उन पिलर के किनारे किनारे एक सिक्योरिटी वॉल भी रहेगी. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री जी ने भी कहा था मंदिर की आयु हजारों वर्ष हो, उसे ध्यान में रखते हुये आईआईटी चेन्नई और रुड़की के शोध के बाद पिलर का निर्माण हो रहा है.


टेस्ट पिलर के बाद 15 अक्टूबर से मुख्य पिलर


यह टेस्ट पिलर बन रही है, इसमें मंदिर का जो वेट होगा, उस वेट की टेस्टिंग की जाएगी. उसके बाद आईआईटी चेन्नई रुड़की और उनके शोध के बाद पिलर के अंदर किस प्रकार की सामग्री मिलाकर के 12 सौ पिलरों का निर्माण किया जाए, जिससे उस मंदिर की आयु हजार वर्ष से अधिक रहे. उसका शोध कार्य चल रहा है. टेस्ट पिलर के पूरा होने के बाद 15 अक्टूबर के आसपास उसका निर्माण शुरू होने वाला है, जून महीने तक बारह सौ पिलर पूरे हो जाएंगे उसके बाद मंदिर के ऊपरी हिस्से का काम शुरू होने की संभावना है.


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