नई दिल्ली, एबीपी गंगा। 17वीं लोकसभा के बजट सत्र का आज दूसरा दिन है। नवनिर्वाचित सांसदों का शपथग्रहण आज भी रहेगा जारी। इसके साथ ही, सभी की निगाहें लोकसभा के नए स्पीकर पर टिकीं थी। जानकारी के मुताबिक, राजस्थान के कोटा से सांसद ओम बिरला नए लोकसभा अध्यक्ष होंगे। कहा जा रहा है कि उन्होंने नॉमिनेशन फॉर्म पर हस्ताक्षर कर दिए हैं। जानकारी मिली है कि बिरला के समर्थन में एनडीए के सभी सदस्यों ने भी नॉमिनेशन फॉर्म पर हस्ताक्षर कर दिए हैं। वहीं, एनपीपी, मिजो नेशनल फ्रंट, लोक जनशक्ति पार्टी, वाईएसआरसीपी, जेडीयू, एआईएडीएमके, अपना दल सभी ने उनके समर्थन में हस्ताक्षर किए हैं। साथ ही, विपक्ष ने भी उनकी उम्मीदवारी का विरोध नहीं किया है। बिरला के पक्ष में कांग्रेस, बीजेडी और कई अन्य पार्टियां भी हैं। ऐसे में ये कहा जा सकता है कि लोकसभा स्पीकर का चुनाव एकमत हो गया है।


कौन हैं ओम बिरला




  1. ओम बिरला 2 बार सांसद और कोटा से 4 बार विधायक रहे हैं

  2. 2019 के चुनाव में उन्होंने कोटा में कांग्रेस उम्मीदवार रामनारायण मीणा को 2.5 लाख से भी ज्यादा वोटों से हराया था

  3. बिरला को अमित शाह का करीबी माना जाता है

  4. बीजेपी युवा मोर्चा में भी शामिल रहे

  5. उन्होंने राजस्थान में पार्टी का पुनर्गठन किया था



बिरला की पत्नी का बयान


बिरला के लोकसभा स्पीकर बनाए जाने पर उनकी पत्नी अमिता बिरला ने कहा, 'ये हमारे लिए बहुत खुशी और गर्व का पल है। हम कैबिनेट के आभारी है कि उन्होंने ओम बिरला पर भरोसा कर उन्हें इस पद के लिए चुना।'


बिरला बोले, मुझे कोई जानकारी नहीं 


हालांकि, इस बारे में जब ओम बिरला से सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि मुझे इस बारे में कोई जानकारी नहीं है। मैं एक कार्यकर्ता के रूप में बीजेपी के कार्यकारी अध्यक्ष से मुलाकात करने गया था।



अबतक 313 सांसद ले चुके हैं शपथ


बता दें कि सत्र के पहले दिन कुल 313 सांसदों ने शपथ ली। आज दूसके दिन भी बाकी बचे हुए सांसद शपथ लेंगे। पहले दिन शपथ लेने वालों में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, अमित शाह, राजनाथ सिंह, स्मृति ईरानी, निर्मला सीतारमण, राहुल गांधी जैसे दिग्गज शामिल रहे।


विवाद से सत्र की शुरुआत 


सत्र के पहले दिन ही संसद में विवाद देखने को मिला। जहां भोपाल से सासंद साध्वी प्रज्ञा के शपथ लेने के दौरान विवाद खड़ा हो गया। उसने 3 प्रयासों में शपथ ली। दरअसल, साध्वी ने अपने नाम के साथ अपने आध्यात्मिक गुरु का नाम जोड़कर शपथपत्र पढ़ना शुरू किया, जिसपर विपक्षी सांसदों ने हंगामा किया। इसके बाद जब कुछ सांसद शपथ के बाद भारत माता की जय के नारे लगाने लगे, तो प्रोटेम स्पीकर वीरेंद्र कुमार ने उन्हें टोकते हुए कहा कि सिर्फ शपथ में जो लिखा है, वही पढ़ें।