कल यानी 26 दिसंबर को साल 2019 का आखिरी सूर्य ग्रहण लग रहा है। इस खंडग्रास सूर्यग्रहण के कारण 12 घंटे पहले लगने वाले सूतक काल के चलते 25 दिसंबर बुधवार शाम 5 बजे से मंदिरों के कपाट बंद कर दिए जाएंगे। यह सूर्य ग्रहण पौष माह की अमावस्या के दिन मूल नक्षत्र और धनु राशि में लग रहा है। सूतक सूर्य ग्रहण से 12 घंटे पहले यानी आज बुधवार को शाम 5 बजकर 32 मिनट से शुरू हो जाएगा और 26 दिसंबर को सुबह 10 बजकर 57 मिनट तक रहेगा।


सूतक काल में नहीं होता है शुभ कार्य


ग्रहण में लगने वाला सूतक एक अशुभ समय होता है। धार्मिक दृष्टि से यह अवधि किसी शुभ कार्य के लिए अच्छी नहीं होती है। अतः इस दौरान शुभ कार्यों को नहीं किया जाता है। यह सूर्य ग्रहण से चार पहर (एक पहर तीन घंटे के बराबर होता है) पहले से ही लग जाता है और ग्रहण के समाप्ति के साथ ही खत्म होता है। हालांकि सूतक काल वहीं प्रभावी होता है, जहां सूर्य ग्रहण दिखाई देगा।


जब तक सूतक काल चलता है तब तक किसी भी तरह के शुभ कार्य नहीं होते हैं। ज्योतिष गणना के अनुसार इस साल यह आंशिक सूर्य ग्रहण सुबह 8.17 मिनट से शुरू हो जाएगा और 10:57 तक रहेगा।


सूर्यग्रहण का सूतक काल 12 घंटे पहले से शुरू हो जाएगा।


सूर्य ग्रहण गुरु की राशि धनु और मूल नक्षत्र में लग रहा है। मूल नक्षत्र का स्वामी ग्रह केतु है। सूर्य ग्रह, धनु राशि और मूल नक्षत्र के बीच की सामंजस्यता को देखें तो इन तीनों के मध्य अच्छी सामंजस्यता दिखाई दे रही है।