अमरोहा: उत्तर प्रदेश के अमरोहा में भी गंगा किनारे बसे 57 गांव में रहने वाले ग्रामीणों को भी अलर्ट कर दिया गया है. मंदिर, मस्जिद दरगाहओं से भी अलर्ट करने के लिए लगातार ऐलान किए जा रहे हैं, और गंगा किनारे किसानों को कल तक अपने कृषि कार्य से जाने से भी रोक दिया गया है. उत्तराखंड के जोशीमठ में ग्लेशियर के फटने से भारी तबाही की आशंका जताई जा रही है. अमरोहा जिला अधिकारी उमेश मिश्रा द्वारा मौके पर जाकर निरीक्षण किया और अधिकारियों को सतर्क रहने के लिए कहा है.


मुनादी कर लोगों को सतर्क किया जा रहा है


आपको बता दें कि, अमरोहा के गंगा किनारे प्रशासन ने खादर की मुनादी कराकर किसानों को घर लौटने की हिदायत दी है. खादर क्षेत्र में खरबूजा, तरबूज आदि की फसल बोई गई है. गंगा किनारे खादर में खेती करने वाले किसानों को भी मुनादी कराकर बताया कि पानी तेजी से बढ़ रहा है, इसलिए गंगा किनारे ना जाए तेज गति से आगे बढ़ रहा है. पानी को लेकर अमरोहा प्रशासन ने भी अलर्ट जारी कर दिया है. इस बड़ी घटना को देखकर खादर क्षेत्रों के लोगों की दिलों की धड़कन बढ़ गई है. सूचना मिलते ही खादर क्षेत्र के लोगों ने इधर-उधर फोन करने शुरू कर दिए और ताजा स्थिति से रूबरू होने के लिए आतुर दिखाई दिए, हालांकि प्रशासन खादर क्षेत्रों में तैयारियों का जायजा लेने के लिए पहुंचने लगा है. सिंचाई विभाग के अधिकारी भी गंगा तिगरी घाट पहुंच गए हैं और जिला अधिकारी उमेश मिश्रा एसपी सुनीति ने टीम के साथ खादर क्षेत्र कोच का जायजा लिया है.


प्रशासन अलर्ट


आशंका जताई जा रही है कि रात्रि में गंगा का जलस्तर बढ़ सकता है. ऐसे में ग्रामीण न सोए. कुछ गांव में पुलिस व प्रशासनिक टीम तैनात की जा रही है, ताकि आपातकालीन स्थिति में ग्रामीणों को सुरक्षित ठिकानों पर पहुंचाया जा सके.


जिला अधिकारी उमेश मिश्र ने जानकारी देते हुए बताया कि, क्योंकि अमरोहा के नजदीक डैम बना हुआ है, इसलिए सीधा प्रभाव तो नहीं पड़ेगा. चूंकि कुछ ग्रामीण इलाके डूब क्षेत्र में आते हैं, इसलिए वहां पर लोगों को चेतावनी दी जा रही है, इसके लिए कई टीमें काम में लगाई गई हैं, और वो खुद नजर बनाए हुए हैं, इस त्रासदी के दौरान बह कर आने वाली पानी का दबाव परसों तक अमरोहा जनपद में देखने को मिल सकता है.


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