संभल: यूपी के संभल में किसानों को पचास-पचास हजार रुपये मुचलके भरने को लेकर जारी किया गया नोटिस शुक्रवार को पुलिस रिपोर्ट के आधार पर प्रशासन ने निरस्‍त कर दिया. संभल के उप जिलाधिकारी दीपेंद्र यादव ने बताया कि 20 किसानों को जिला प्रशासन की ओर से जारी नोटिस को पुलिस रिपोर्ट के आधार पर निरस्‍त कर दिया गया है. उन्‍होंने बताया कि किसानों की ओर से ये प्रार्थना पत्र प्राप्त हुआ कि जल्दबाजी में हमें ये नोटिस जारी किया गया है और पुलिस ने रिपोर्ट गहन जांच करके नहीं भेजी है, इसीलिए इस रिपोर्ट की गहन जांच करा दें.


नोटिस को निरस्‍त कर दिया गया
उप जिलाधिकारी दीपेंद्र यादव ने बताया कि दोबारा जांच के बाद पुलिस ने रिपोर्ट में ये अवगत कराया कि सभी किसानों से वार्ता की गई जिसमें किसानों के किसी बवाल में न पड़ने के आश्‍वासन के बाद नोटिस को निरस्‍त कर दिया गया.


शांति भंग होने की आशंका
एसडीएम दीपेंद्र यादव ने बृहस्पतिवार को बताया कि 'हमें हयात नगर पुलिस थाने से रिपोर्ट मिली थी कि कुछ व्यक्ति किसानों को उकसा रहे हैं और इससे शांति भंग होने की आशंका है और प्रत्येक से 50 लाख रुपये के मुचलके पर पाबंद किया जाये, किसानों ने कहा कि ये बहुत ज्यादा है फिर दोबारा थानाध्यक्ष ने दूसरी रिपोर्ट दी जिसमें इन लोगों को 50-50 हजार रूपये के मुचलके से पाबंद किया गया था.'


इन्हें जारी किया गया नोटिस
जिन किसानों को नोटिस दिया गया, उनमें भारतीय किसान यूनियन (असली) संभल के जिलाध्यक्ष राजपाल सिंह यादव और अन्य किसान नेता जयवीर सिंह, ब्रम्हचारी यादव, सतेंद्र यादव, रौदास और वीर सिंह शामिल हैं.


किसान आंदोलन कर रहे हैं
भारतीय किसान यूनियन (असली) संभल के जिला अध्यक्ष राज पाल सिंह यादव ने कहा था, 'हम यह मुचलके किसी भी हालत में नहीं भरेंगे चाहे हमें जेल हो जाए, चाहे फांसी हो जाए, हमने कोई गुनाह नहीं किया है.' केंद्र के तीन कृषि कानूनों को लेकर किसान आंदोलन कर रहे हैं.



ये भी पढ़ें:



2022 के चुनाव से पहले यूपी में बढ़ा सियासी पारा, AAP-BJP के बीच जुबानी जंग हुई तेज़


हाथरस केस: CBI की चार्जशीट के बाद प्रियंका गांधी बोलीं- सत्यमेव जयते