UP Assembly Election 2022: आगरा के जिला न्यायालय में अधिवक्ता सुरेश चंद सोनी ने केंद्रीय कानून राज्यमंत्री और करहल विधानसभा से बीजेपी प्रत्याशी एसपी सिंह बघेल के खिलाफ जातिय प्रमाण पत्र को लेकर एमपी-एमएलए कोर्ट में शिकायत दर्ज कराई है. अधिवक्ता ने केंद्रीय राज्यमंत्री एसपी सिंह बघेल के जातिय प्रमाण पत्र को लेकर कोर्ट में एक शिकायत दर्ज कराई है. इसमें धारा 420, 467, 468, 471, 120B और 211 आईपीसी की धारा शामिल है.


अधिवक्ता सुरेश चंद सोनी ने दी जानकारी


अधिवक्ता सुरेश चंद सोनी ने बताया कि एसपी सिंह बघेल की शिक्षा मध्य प्रदेश और मेरठ में हुई है. जहां पर उन्होंने अपनी जाति ठाकुर (सिकरवार) लिखाई थी. जब एसपी सिंह बघेल की पुलिस में नोकरी लगी तब अन्य विछड़े वर्ग के रूप में नोकरी लगी थी, जब ये मुलायम सिंह यादव के गनर थे और इन्होंने अपना जातिय प्रमाण पत्र अन्य पिछड़ा वर्ग का लगाया था. ये तीन बार लोकसभा चुनाव लड़े थे. तब ये अन्य पिछड़ा वर्ग में लड़े थे. अचानक से एसपी सिंह बघेल टुंडला विधानसभा सीट से अनुसूचित जाति पर चुनाव लड़े. इन्होंने धनगर जाति को अपनी उपजाति बताया था. जबकि शिक्षा में इन्होंने सिकरवार लिखाई थी.




लोकसभा चुनाव में अनुसूचित जाति का प्रमाण पत्र लगाया था


वैसे एसपी सिंह बघेल आगरा लोकसभा चुनाव में भी अनुसूचित जाति का प्रमाण पत्र लगाया था. उस समय हमनें काफी आपत्ति की थी और रिटर्निंग ऑफिसर को बताया था कि ये फर्जी है. हमनें इनके खिलाफ आगरा न्यायालय में मामला प्रस्तुत किया है. इस केस से ये भी साबित होगा कि ये फर्जी प्रमाण पत्र बनाने वाले कौन थे. उन्होंने कहा अगर एसपी सिंह बघेल से कह दिया जाए कि आपको छत्तीसगढ़ या झारखंड का मुख्यमंत्री बनना है तो ये एसटी बनकर आदिवासी बन जाएंगे और फर्जी कागज पेश कर देंगे. 18 फरवरी को इन मामले की सुनवाई होगी.


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