Agra IG on Integrated control and command center: आगरा में आईजी रेंज नवीन अरोड़ा (IG Range Naveen Arora) ने आज से शहर की ट्रैफिक व्यवस्था (Traffics managment System) सुधारने के लिए 10 चौराहों पर ट्रैफिक मैनेजमेंट को लेकर महा अभियान की शुरुआत की है. लेकिन उनकी शिकायत आगरा स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत स्थापित किए गए इंटीग्रेटेड कंट्रोल एंड कमांड सेंटर(ICCC) से है. उन्होंने ICCC लेकर बयान दिया है कि, इससे पुलिस को ट्रैफिक मैनेजमेंट और अपराध नियंत्रण पर अपेक्षित सहयोग नहीं मिल रहा है और 40 से लेकर 50 फीसदी कैमरे ही बमुश्किल काम कर रहे हैं. ICCC के तहत  ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम और सेफ सिटी को लेकर जो दावा किया था, वो दावे केवल हवा हवाई ही नजर आ रहे हैं. पुलिस महानिरीक्षक आगरा रेंज नवीन अरोड़ा ने स्पष्ट कहा कि, अगर इस व्यवस्था को नहीं सुधारा गया तो वह शासन को चिट्ठी लिखकर कार्रवाई करने के लिए कहेंगे, साथ ही फंड रोकने की भी संस्तुति करेंगे.


288 करोड़ की लागत से बना ICCC


दरअसल, आगरा में करीब 288 करोड से इंटीग्रेटेड कंट्रोल एंड कमांड सेंटर की स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत स्थापना की गई है. स्मार्ट सिटी के इस महत्वकांक्षी प्रोजेक्ट पर शुरू से ही सवाल खड़े होते रहे हैं. ICCC को स्थापित कर रही भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड पर स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के सीईओ निखिल फुंडे की तरफ से तीन बार जुर्माना भी लगाया जा चुका है. अभी हाल ही में में 5 करोड़ का जुर्माना लगाया गया है. इससे पहले 1.68 करोड़ और उससे पहले 28 लाख का जुर्माना पहले भी लगाया जा चुका है. उसके बावजूद स्मार्ट सिटी लिमिटेड की तरफ से दावा किया जा रहा है कि, हमने चौराहों पर इंटीग्रेटेड ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम और सेफ सिटी के उद्देश्य से 63 चौराहों पर सीसीटीवी कैमरे इनस्टॉल कर दिए हैं और सिग्नलिंग व्यवस्था ठीक कर दी है, लेकिन उसके जमीनी हकीकत यह है कि, 50 फीसदी कैमरे ही बमुश्किल काम कर पा रहे हैं.  इसके साथ ही पैनिक अलार्म से लेकर कई अन्य सुविधाओं पर भी लगातार सवाल खड़े हो रहे हैं और जब आईजी रेंज आगरा नवीन अरोड़ा ने ट्रैफिक व्यवस्था सुधारने को लेकर अभियान छेड़ने की बात कही तो उनको आईसीसीसी से ज्यादा मदद नहीं मिल पा रही है. 


वाइस प्रेसीडेंट ने मानी खामियां


इसको लेकर आगरा स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट को चलाने वाली कंपनी पीएमसी के वाइस प्रेजिडेंट आनंद मेनन ICCC की खामियों को स्वीकार करते हुए नजर आते हैं और कहते है कि आगामी दिनों में ट्रैफिक नियंत्रण को लेकर ICCC पूरी क्षमता  से काम करेगा. वो इस बात का भरोसा देते हैं, लेकिन भारी भरकम रकम खर्च हो जाने और तीन बार जुर्माना लगाने बावजूद ठीक ढंग से आईसीसीसी के काम ना करने पर आगरा में शहर के मेयर भी सवाल खड़े कर रहे हैं. मेयर नवीन जैन ने कहा है कि, हम पहले भी इसको लेकर आगरा स्मार्ट सिटी के चेयरमैन अमित गुप्ता और सीईओ निखिल फुंडे को कह चुके हैं. 


दूसरी कंपनी को मिले काम 


अगर आई ट्रिपल सी में कमियां है और लगातार जुर्माना लगाने के बावजूद उसमें सुधार नहीं हो रहा तो इसे बनाने वाली कंपनी भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड को हटाकर किसी दूसरी कंपनी को काम दिया जाना चाहिए. साथ ही उन्होंने कहा कि मैंने भी इस बात को महसूस किया है कि कई जगह घटनाएं होने पर सीसीटीवी कैमरे लगे होने के बावजूद पुलिस को अपराधी को चिन्हित करने में मदद नहीं मिल पा रही है, क्योंकि कैमरा काम ही नहीं कर रहे हैं. उन्होंने इसके लिए एक लेटर स्मार्ट सिटी के चेयरमैन और सीईओ को लिखे जाने की बात कही है. 


उठ रहे हैं सवाल 


सवाल इसलिए भी ICCC को चलाने वाली भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड पर खड़े हो रहे हैं कि, 31 दिसंबर को इंटीग्रेटेड कंट्रोल एंड कमांड सेंटर का गो लाइव प्रोग्राम संपन्न हो चुका है और 1 अप्रैल से इसको पूरी तरह से फंक्शनल हो जाने का दावा किया था और इसका प्रधानमंत्री से वर्चुअल उद्घाटन भी करवा दिया गया है, उसके बावजूद अभी तक 50 फीसदी कैमरे ही बमुश्किल काम कर रहे हैं.  इसके साथ ही तमाम अन्य सुविधाएं भी अभी तक सुचारू नहीं हो पाई हैं.



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