आगरा:  रेलवे ने अपनी भूमि पर से अतिक्रमण को हटाने की कवायद शुरू कर दी है. इसी के तहत आगरा में राजा की मंडी रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म से 250 साल पुराने चामुंडा देवी मंदिर को स्थानांतरित करने के लिए भारतीय रेलवे ने नोटिस जारी किया है. हालांकि रेलवे के इस फैसले का जमकर विरोध हो रहा है. विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने शुक्रवार को आगरा में डीआरएम के कार्यालय में 'हनुमान चालीसा' का पाठ किया. वहीं मुस्लिम समुदाय भी एकजुटता दिखाते हुए मंदिर हटाए जाने के खिलाफ खड़ा हो गया है.


मुस्लिम समुदाय भी मंदिर हटाने के खिलाफ हुए एकजुट


भाजपा नेता शबाना खंडेलवाल के नेतृत्व में मुस्लिम समुदाय के लोगों ने भी अपनी एकजुटता दिखाते हुए इसे ''विश्वास का मामला'' बताया और कहा कि सरकार को समुदाय की भावनाओं को ठेस पहुंचाने के लिए कुछ नहीं करना चाहिए.


अखिल भारतीय उलेमा बोर्ड के अध्यक्ष ने क्या कहा ?


अखिल भारतीय उलेमा बोर्ड (महिला विंग) के राष्ट्रीय अध्यक्ष खंडेलवाल ने कहा, "अगर अधिकारी मंदिर को गिराने के लिए बुलडोजर का इस्तेमाल करते हैं तो मैं इसके सामने खड़ा होने वाला सबसे पहला व्यक्ति होउंगा" उन्होंने कहा कि "नई धार्मिक संरचनाओं का निर्माण सरकार या प्रशासन द्वारा रोका जा सकता है लेकिन एक प्राचीन मंदिर को हटाना स्वीकार्य नहीं है."


मंदिर को हटाने के लिए रेलवे ने पुजारी को जारी किया था नोटिस


बता दें कि मंदिर के पुजारी को 20 अप्रैल को जारी नोटिस में रेलवे अधिकारियों ने आरोप लगाया था कि मंदिर के ढांचे से यात्रियों को असुविधा हो रही है और ट्रेन संचालन की सुरक्षा प्रभावित हो रही है.


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