Agra Radha Swami Satsang Case: आगरा के दयालबाग स्थित राधा स्वामी सत्संग सभा को इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) से बड़ी राहत मिली है. हाईकोर्ट ने विवादित जमीन पर सरकारी दावे को खारिज कर दिया. न्यायाधीश मनीष कुमार निगम ने आगरा प्रशासन की कार्यवाही पर नाराजगी जताई. उन्होंने कहा कि प्रशासन को किसी की संपत्ति पर बेवजह बुलडोजर चलाकर कब्जा लेने का अधिकार नहीं था. मनीष कुमार निगम की सिंगल बेंच राधा स्वामी सत्संग भवन के ध्वस्तीकरण मामले की सुनवाई कर रही थी.


बुलडोजर की कार्रवाई को हाईकोर्ट ने माना गलत 


बता दें कि 23 और 24 सितंबर को अतिक्रमण हटाने के दौरान हिंसा भड़क उठी थी. पुलिस और प्रशासन पर सत्संगियों की तरफ से पथराव किया गया. बचाव में पुलिस को लाठीचार्ज का आदेश देना पड़ा. लाठीचार्ज के बाद भीड़ को तितर बितर कर दिया गया. आरोप है कि पुलिस की लाठीचार्ज में करीब 50 सत्संगी घायल हुए. पथराव में कई पुलिसकर्मियों को भी चोट आई थी. हाईकोर्ट ने पिछली सुनवाई में यूपी सरकार और राधा स्वामी सत्संग सभा की दलीलों को सुनने के बाद बुलडोजर की कार्रवाई पर लगी रोक को बढ़ाने का आदेश पारित किया था.


राधा स्वामी सत्संग सभा के पक्ष में आया फैसला


हाईकोर्ट ने कहा था कि 16 अक्टूबर की अगली सुनवाई में ध्वस्तीकरण की कार्रवाई से जुड़े सभी ओरिजिनल रिकॉर्ड पेश किए जाएं. आज (सोमवार) जमीन विवाद से जुड़े ओरिजिनल रिकॉर्ड देखने के बाद हाईकोर्ट ने आदेश जारी किया. अदालत ने राधा स्वामी सत्संग सभा के पक्ष में फैसला सुनाया. न्यायाधीश मनीष कुमार निगम की सिंगल बेंच ने कहा कि विवादित जमीन पर सरकारी दावा सही नहीं है. जमीन राधा स्वामी सत्संग सभा की मिल्कियत है. राधा स्वामी सत्संग सभा की याचिका को मंजूर करते हुए अदालत ने फैसला सुनाया कि याचिकाकर्ता को अब प्रशासन की कार्रवाई के खिलाफ उचित फोरम से गुहार लगाने का अधिकार है. 


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