आगरा, एबीपी गंगा। आगरा इस वक्त पूरे उत्तर प्रदेश की कोरोना कैपिटल बनी हुई है। इस वक्त पूरे यूपी में सबसे ज्यादा कोरोना पॉजिटिव केस आगरा से हैं। ऐसे में यहां कोरोना का और फैलाव न हो इसके लिए जरूरी है कि यहां जल्द कुछ उपाय किए जाएं। सरकार ने आगरा के बारे में अहम फैसला किया है। यूपी की योगी सरकार यहां कोरोना से लड़ने के लिए ब्रह्मास्त्र का प्रयोग करने वाली है।


दरअसल, टीबी की जांच में प्रयोग होने वाली मशीन अब कोरोना की जांच के प्रयोग में लाई जाएगी। इसे लेकर ICMR ने 19 अप्रैल को जो गाइडलाइन भेजी हैं, उस पर राजधानी लखनऊ में काम शुरू हो गया है।


बता दें कि इसके लिए राजधानी लखनऊ में बकायदा KGMU में डॉ. सूर्यकांत की अगुवाई में काम होना शुरू हो गया है। डॉ. सूर्यकांत की अगुवाई में इस मशीन से टेस्ट सफलतापूर्वक संपन्न हो चुका है। सबसे खास बात यह है कि TB जैसी गंभीर बीमारी के लिए प्रयोग में आने वाली इस मशीन से कोरोना की जांच रिपोर्ट मात्र एक घंटे में मिल जाएगी। जिससे कि कोरोना के टेस्ट में तेजी आएगी। अभी कोरोना की जांच रिपोर्ट आने में एक दिन का वक्त लगता है। इन तकनीक से एक घंटे में एक साथ 16 टेस्ट की रिपोर्ट ली जा सकेगी।


यूपी टीबी टास्क फोर्स के चैयरमेन डॉ. सूर्यकांत के मुताबिक देशभर में 1156 सीबीनेट मशीनें हैं। वहीं उत्तर प्रदेश में इस तरह की 141 मशीनें हैं। ऐसे में कोरोना से लड़ाई लड़ रही स्वास्थ्यकर्मियों की टीम को प्रशिक्षण देकर ये बड़ी सुविधा की शुरुआत होने जा रही है। डॉ. सूर्यकांत के मुताबिक, इस नई तकनीक से व्यापक स्तर पर सैम्पलिंग की जा सकेगी और कोरोना वायरस के संदिग्धों का बड़े पैमाने पर टेस्ट कराकर लोगों के बीच से इस बीमारी को मिटाने में मदद मिल सकेगी। आगरा में कोरोना के मरीजों का आकंड़ा तीन सौ से भी ऊपर जा चुका है और यह लगातार बढ़ता ही जा रहा है। ऐसे में जल्द जांच रिपोर्ट आने से सरकार को मदद मिलने की पूरी संभावना है ।