अखिलेश यादव का आरोप- जिला पंचायत अध्यक्षों के चुनाव में सीएम योगी ने की धांधली, 2022 में 350 सीटें जीतेगी सपा
अखिलेश ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री योगी ने सत्ता के दंभ में जिला पंचायत अध्यक्षों के चुनाव में धांधली करने में हद कर दी है. उन्होंने दावा किया कि सपा आगामी चुनाव में विधानसभा की 350 सीटें जीतकर आएगी.
लखनऊ: समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने उत्तर प्रदेश में सत्तारूढ़ बीजेपी पर जिला पंचायत अध्यक्षों के चुनाव में धांधली का आरोप लगाया. उन्होंने दावा किया कि अगले विधानसभा चुनाव में सपा 350 सीट जीतेगी. अखिलेश ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सत्ता के दंभ में जिला पंचायत अध्यक्षों के चुनाव में धांधली करने में हद कर दी है. उनके अलोकतांत्रिक आचरण से संवैधानिक संस्थाओं के लिए भी खतरा पैदा हो गया है.
सपा अध्यक्ष ने कहा, ''जिला पंचायत सदस्यों के चुनाव में अपनी हार को जबरन छल कपट से जीत में बदलकर मुख्यमंत्री योगी और बीजेपी फौरी तौर पर भले ही अपनी वाहवाही करा लें, मगर अगले साल के शुरू में प्रदेश में होने वाले विधानसभा चुनाव में उन्हें मुंह की खानी पड़ेगी. सपा आगामी चुनाव में विधानसभा की 350 सीट जीतकर आएगी और बीजेपी चंद सीटों पर सिमटकर विपक्ष में बैठने को मजबूर होगी.'' उन्होंने आरोप लगाया कि प्रदेश में जगह-जगह बीजेपी नेताओं ने प्रशासन के सहयोग से जनादेश का 'अपहरण' करते हुए समाजवादी पार्टी के प्रत्याशियों और प्रस्तावकों को बलपूर्वक नामांकन करने से रोका.
अधिकारी मूकदर्शक बने रहे- अखिलेश यादव
अखिलेश ने कहा कि दुख इस बात का है कि चुनाव प्रक्रिया को बाधित करने वालों पर अधिकारी अंकुश लगाने के बजाय मूकदर्शक बने रहे. निर्वाचन आयोग भी असहाय बना रहा और राजभवन ने भी मौन धारण कर रखा है. उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि जनता की अदालत से तिरस्कृत बीजेपी ने बलरामपुर में जबरन अपनी जीत दर्ज कराने के लिए समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी को नज़रबंद कर नामांकन पत्र छीन लिया और लोकतंत्र का गला घोंटते हुए ललितपुर में भी जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी को नामांकन नहीं करने दिया गया.
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष ने गोरखपुर, झांसी, बस्ती, गाजियाबाद और बरेली समेत कई जिलों में बीजेपी नेताओं द्वारा प्रशासन की मदद से सपा के जिला पंचायत अध्यक्ष पद के उम्मीदवारों को नामांकन करने से जबरन रोकने और जानबूझकर पर्चा खारिज कराने के आरोप भी लगाए.
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