Akhilesh Yadav on Uttarakhand New CM: समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश में बेरोजगारी और बदहाली का आरोप लगाते हुए बीजेपी नेतृत्व को नसीहत दी कि बीजेपी की राजनीति की बेहतरी और दोनों राज्यों में स्थिरता की बहाली के लिए प्रदेश के मुख्यमंत्री को उत्तराखंड स्थानांतरित कर दिया जाए ताकि वहां रोज-रोज नेतृत्व परिवर्तन के झंझट से मुक्ति मिल सके.


वहीं दूसरी तरफ प्रदेश बीजेपी अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने सपा प्रमुख पर पलटवार करते हुए कहा कि अपनी खिसक चुकी जमीन के सच को स्वीकार करने के बजाय सपा प्रमुख उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री को उत्तरखण्ड स्थानान्तरित करने की बात कह रहे हैं.


उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में डबल इंजन यार्ड में खड़ा जंग खा रहा है- अखिलेश


सपा मुख्यालय से जारी बयान में यादव ने कहा, ''उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड दोनों राज्यों में डबल इंजन यार्ड में खड़ा जंग खा रहा है. उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री के कारण लोकतंत्र चोटिल हुआ है और उत्तराखंड में लोकतंत्र अस्थिरता का शिकार हो गया है.'' यादव ने तंज कसा, ''ऐसे में अच्छा होगा कि बीजेपी की राजनीति की बेहतरी और दोनों राज्यों में स्थिरता की बहाली के लिए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री को उत्तराखंड स्थानांतरित कर दिया जाए ताकि वहां रोज-रोज नेतृत्व परिवर्तन के झंझट से मुक्ति मिल सके.'' सपा प्रमुख ने दावा किया, ''सच तो यह है कि उत्तर प्रदेश में लोकतंत्र चाहे पाताल में समा जाए, बीजेपी का शीर्ष नेतृत्व यहां मुख्यमंत्री बदलने की हिम्मत नहीं जुटा सकता है. जनता में बीजेपी सरकार के प्रति असंतोष बढ़ता जा रहा है. दोनों राज्यों में पलायन की समस्या समान रूप से गंभीर है. कानून व्यवस्था में गिरावट और राजनीतिक तिकड़मबाजी के चलते दोनों राज्यों में न तो पूंजी निवेश हो रहा है और न हीं नए उद्योग धंधे लग रहे हैं.''


अखिलेश ने कहा, ''बीजेपी की नीतियों से उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश दोनों राज्यों में बेरोजगारी में लगातार वृद्धि हो रही है और जब से बीजेपी सत्तारूढ़ हुई विकास अवरुद्ध है. दोनों राज्यों में महंगाई और भ्रष्टाचार का बोलबाला है, स्वास्थ्य सेवाएं बदहाल हैं. महिलाओं का सम्मान के साथ जीना दूभर हो गया है. दोनों प्रदेशों में किसानों के साथ अन्याय हो रहा है. व्यापारी परेशान है. नौजवानों का भविष्य अंधकारमय है.'


यादव ने कहा कि वस्तुत: बीजेपी का लोकतांत्रिक मूल्यों के प्रति प्रारम्भ से ही अनादर का भाव रहा है और लोकतंत्र का अहित करने में उसने कोई कसर नहीं छोड़ी है. उन्होंने कहा कि जब तक उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में बीजेपी सत्तारूढ़ रहेगी तब तक स्वस्थ लोकतंत्र की कल्पना भी नहीं की जा सकती है.


2022 में फिर से बीजेपी की सरकार बनेगी- स्वतंत्र देव सिंह


वहीं पलटवार करते हुए स्वतंत्र देव सिंह ने कहा, ''सपा प्रमुख यह समझ चुके है कि राज्य में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में बीजेपी सरकार द्वारा जन अपेक्षाओं को पूरा करते हुए किये जा रहे जनहित के कार्यों के परिणाम स्वरूप जनता का विश्वास बीजेपी के प्रति और दृढ़ हुआ है और समाजवादी पार्टी की जमीन उत्तर प्रदेश में खिसक चुकी है.'' उन्होंने कहा, ''अपनी खिसक चुकी जमीन के सच को स्वीकार करने के बजाय सपा प्रमुख उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री को उत्तराखंड स्थानांतरित करने की बात कह रहे हैं और सपा प्रमुख के बयान से लगता है कि वे भी इस सच को स्वीकार कर लिए है कि राज्य में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में 2022 में फिर से अभूतपूर्व जनसमर्थन के साथ ऐतिहासिक बहुमत वाली बीजेपी की सरकार बनेगी और जनता एक बार फिर परिवारवाद, भ्रष्टाचार और अराजकता को नकार देगी.''


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