उत्तर प्रदेश: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने सरकारी कार्यालयों में 'नो मास्क नो एंट्री' का फार्मूला लागू करने के निर्देश दिये है. बिना मास्क पहने कोई भी कर्मचारी या अधिकारी कार्यालय में प्रवेश ना करने के आदेश दिये है.


केंद्र सरकार की ओर से मास्क के संबंध में गाइडलाइन दाखिल की गई‌. कोर्ट ने गाइडलाइन अनुपालन के लिए राज्य सरकार को सौंपी. राज्य सरकार आईसीएमआर के निर्देशों के तहत मास्क और सैनिटाइजर की बिक्री को लेकर गाइडलाइन जारी करने को कहा.


साथ ही होटल, रेस्टारेंट, ओपेन एयर रेस्टोरेंट या रोड पटरियों पर खाने पीने का सामान बेचने वालों को दुकानें खोलने की अनुमति देने का निर्देश दे दिया गया है. राज्य सरकार को कुछ शर्तों के तहत अंडर टेकिंग देने पर ही खोलने का निर्देश दिया है.


ग्राहक सोशल डिस्टेन्सिंग का पालन करते हुए दुकान के अंदर ही खाना खाएं इस बात पर ध्यान देने को कहा गया. रेस्टोरेंट या दुकान के पांच गज के भीतर बिना मास्क कोई दिखाई ना दें. सड़क पटरी के दुकानदार पेयजल की बिक्री न हो इस पर भी ध्यान देने को कहा.


गाइडलाइन के मुताबिक, पांच हजार रुपये प्रतिदिन के टर्नओवर वाले दुकानदार सीसीटीवी कैमरा जरूर लगाएं. सभी दुकानदार खाने-पीने का सामान बंद पैकेट में बेचने की व्यवस्था करें. हाईकोर्ट ने कोविड-19 मामले में कायम जनहित याचिका पर आदेश दिया है.


आपको बता दें, जस्टिस सिद्धार्थ वर्मा और जस्टिस अजित कुमार की खंडपीठ ने आदेश दिया है.


यह भी पढ़ें.


केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी बोलीं-देश में महिलाओं के लिए बने कानून सार्थक और कारगर