Amethi Massacre: अमेठी में जमीनी विवाद में महिला समेत चार लोगों की हत्या मामले के बाद पूरे गांव में तनाव फैल गया. बड़ी संख्या में महिलाएं और युवक अमेठी दुर्गापुर मार्ग पहुँचे और ट्रैक्टर लगाकर जाम लगा दिया. जाम की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और आक्रोशित लोगों को समझाने का प्रयास करने लगी. एक बार तो ऐसा लगा कि मामला आउट ऑफ कंट्रोल हो जाएगा. तीन घंटे की कड़ी मशक्कत के बाद पुलिस ने गांववालों को समझाया. शाम तक चले बवाल के बाद किसी तरह गांव वालों को शांत किया गया और फिर उसी विवादित जमीन पर चारों का अंतिम संस्कार कर प्रसाशन ने राहत की सांस ली.

 

अमेठी हत्याकांड के बाद गांव में बवाल

गांव में फैले तनाव को देखते हुए पुलिस प्रशासन ने गांव में बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिया. मौके पर चार सीओ के साथ कई थानों की फोर्स सहित चार पीएसी कंपनी को भी तैनात किया गया. जिसके बाद गांववालों ने दुर्गापुर मार्ग पर जाम लगा दिया. इसी बीच एक युवक ने ट्रैक्टर की मदद से 10 फिट से ज्यादा उठी विवादित दीवार को गिरा दिया. इसके बाद तो बवाल और भी ज्यादा बढ़ गया. पुलिस ने किसी तरह हालात को कंट्रोल किया. इसी बीच पोस्टमार्टम के बाद चारों शव कड़ी सुरक्षा के बीच गांव पहुंचे लेकिन जाम लगाए बैठे ग्रामीणों ने शवों को रोक नारेबाजी शुरू कर दी. करीब तीन घंटे की मेहनत के बाद प्रसाशन ग्रामीणों को समझाने में कामयाब हुई और फिर उसी विवादित जमीन एक साथ सभी चारों शवो का अंतिम संस्कार किया गया. 

 

जमीन विवाद में गई एक परिवार के 4 लोगों की जान

अमेठी के गुंगवाछ ग्रामसभा राजापुर गांव में बंजर भूमि पर कब्जे को लेकर पूर्व ग्राम प्रधान अमरेश यादव और उसके पटीदार रामदुलारे के बीच कई महीनों से विवाद चल रहा था. इस विवाद में आधी-आधी जमीन के बंटवारे को लेकर सहमति भी बन गई थी. लेकिन रामदुलारे इस जमीन पर तय से ज्यादा हिस्से पर दीवार बनवाने लगा जिसके बाद अमरेश वहां अपने परिवार के साथ पहुंचा और इस पर आपत्ति जताई. तभी पहले से घात लगाए बैठे रामदुलारे पक्ष के लोगों ने उन चारों पर धारदार हथियारों से हमला कर दिया. इस हमले में चार लोगों की मौत हो गई थी जबकि 6 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए थे. घटना के बाद आरोपी मौके से फरार हो गए थे. 

 

मौके पर पहुंचे आला अधिकारी

एक ही परिवार के चार लोगों की हत्या का मामला सामने आने के बाद प्रशासनिक अमले में हड़कंप मच गया और डीएम राकेश मिश्र खुद अस्पताल में घायलों से मिलने पहुंचे और उन्होंने घटना स्थल की भी दौरा किया. देर रात ही अयोध्या मंडल के आईजी कवीन्द्र प्रताप सिंह और एडीजी बृजभूषण शर्मा भी अमेठी पहुँचे और अधिकारियों से पूरे मामले की जानकारी ली. आईजी कवीन्द्र प्रताप सिंह की शुरुआती जांच में दोषी पाए गए अमेठी कोतवाली प्रभारी विनोद कुमार सिंह, बीट दरोगा संजय सिंह और कांस्टेबल स्वतंत्र उपाधयाय को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया. 

 

इन लोगों पर दर्ज हुआ मुकदमा

पुलिस ने परिजनों की तहरीर पर रामदुलारे, अखिलेश यादव,बृजेश यादव, छोटू, नितिन तिवारी, रामशंकर तिवारी और मौजूदा ग्राम प्रधान आशा तिवारी समेत कई अज्ञात लोगों पर धारा संबधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया है. इस मामले में पुलिस ने चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है जबकि तीन की तलाश में पुलिस की पांच टीमें लगी है.

 

वहीं पूरे मामले पर अमेठी सीओ अर्पित कपूर ने कहा कि अब हालात कंट्रोल में है. चारों शवों का अंतिम संस्कार कर दिया गया है. एहतियात के तौर पर चार कंपनी पीएसी के अलावा आधा दर्जन थानों की फोर्स को मौके पर तैनात किया गया है. फरार तीन आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस की पांच टीमें लगातार दबिश दे रही है और जल्द ही सभी को गिरफ्तार कर लिया जायेगा.