Ghazipur News: आजाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमिताभ ठाकुर ने तत्कालीन एसपी चंदौली अमित कुमार सहित 18 पुलिस कर्मियों के खिलाफ थाना नंदगंज, गाज़ीपुर में दर्ज कराए गए मुकदमे को समाप्त किए जाने की कड़ी निंदा की है. डीजीपी उत्तर प्रदेश को भेजे अपने पत्र में उन्होंने कहा है कि चंदौली में तैनात मुख्य आरक्षी अनिल सिंह के 3 सालों के लंबे जद्दोजहद के बाद उन्हें फर्जी ढंग से मुकदमों में फंसाए जाने के संबंध में उच्च न्यायालय के हस्तक्षेप के बाद यह मुकदमा दर्ज हो सका.लेकिन दर्ज मुकदमा को समाप्त करना ये बहुत बड़ी साजिश है.
मुकदमे के दर्ज होने के 3 दिनों में ही पुलिस ने इसे फर्जी बताते हुए समाप्त कर दिया, जो घोर आपत्तिजनक और विधि विरुद्ध है. यह असंभव है कि इतने सारे तथ्यों और साक्ष्यों पर आधारित इतने विस्तृत मामले में मात्र 3 दिन में विवेचना होकर गलत साबित हो जाए. इसमें भी सबसे आपत्ति की बात यह है कि मुकदमा झूठा बताने से पूर्व स्वयं वादी अनिल सिंह के बयान तक नहीं लिए गए. यह कहां का नियम है कि बिना जांच पड़ताल और बयान बिना लिए रही मुकदमा को समाप्त कर दिया जाए. इस मुकदमें में पुलिस अधिकारी जानबूझकर किसी को बचाना चाहते है.
2021 में वसूली लिस्ट किया था वायरल
अमिताभ ठाकुर ने कहा कि 2021 में स्वयं उन्होंने ही थाना मुगलसराय, चंदौली के इस वसूली लिस्ट को वायरल किया था, जो जांच में सही पाया गया था. उन्होंने कहा कि पुलिस के अफसरों को बचाने के लिए यह अनुचित कृत्य किया गया है. उन्होंने डीजीपी से जुर्म खारिज की रिपोर्ट को समाप्त करते हुए इस पूरे मामले की सीबीसीआईडी जांच कराए जाने की मांग की है. साथ ही मुकदमा जिन लोगों ने समाप्त किया है उन पर उचित कार्रवाई होनी चाहिए.
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