पीलीभीत से बीजेपी सांसद वरुण गांधी आजकल अपनी ही पार्टी के खिलाफ मोर्चा खोले हुए हैं. इसे देखते हुए अब पार्टी उनके खिलाफ कार्रवाई का मन बना रही है. वरुण का मामला बीजेपी की अनुशासन समिति को भेजा गया है.
वरुण गांधी पर कौन करेगा कार्रवाई?
केंद्रीय मंत्री और वरिष्ठ बीजेपी नेता अर्जुन मेघवाल गुरुवार को पीलीभीत में थे. वहां उन्होंने कहा कि वरुणा गांधी का मामला पार्टी के ध्यान में है. अनुशासन समिति इस पर कार्रवाई करेगी. मेघवाल ने कहा कि वरुण गांधी जो भी बयान दे रहे हैं, वह अनुशासन समिति की नजर में है. वरुण गांधी पर निश्चित ही कार्रवाई होगी. अर्जुन मेघवाल उत्तर प्रदेश में ब्रज क्षेत्र के चुनाव प्रभारी हैं. वरुण गांधी का संसदीय क्षेत्र पीलीभीत ब्रज क्षेत्र में ही आता है.
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वरुण गांधी को बीजेपी की राष्ट्रीय कार्यसमिति से हटा दिया गया था. इसके बाद से ही वो समय समय पर अपनी सरकार को निशाने पर लेते रहते हैं. चाहें वह लखीमपुर खीरी हिंसा का मामला हो या यूपी टीईटी के पेपर लीक का मामला, उन्होंने बीजेपी सरकार पर सवाल उठाए हैं.लखीमपुर खीरी कांड के बाद उन्होंने खुलकर केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र का विरोध किया था.
वरुण ने कब कब अपनी ही सरकार को घेरा
अभी जब बैंक कर्मचारियों ने निजीकरण के विरोध में हड़ताल की तो वरुण गांधी उनके समर्थन में आ गए थे. उन्होंने बरेली में कहा था कि अगर बैंकों का निजीकरण होगा तो जो 10 लाख लोग बेरोजगार होंगे, उनको दोबारा रोजगार कौन देगा, उनके बच्चों को कौन खिलाएगा. उन्होंने कहा कि गर बीएसएनएल, एमटीएनएल, एयरपोर्ट, एयरलाइन बिकेंगे तो आम आदमी के बेटे को नौकरी कौन देगा.
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वहीं गन्ने की कीमतों के सवाल पर भी वरुण गांधी ने अपनी ही सरकार को घेरा था. उन्होंने कहा था कि गन्ने का मूल्य बढ़ाने का मुद्दा उन्होंने अकेले ही उठाया. इस विषय पर बोलने की हिम्मत कोई अन्य सांसद या विधायक नहीं जुटा सका. उन्होंने कहा था कि टिकट कटने के डर से पार्टी के नेता ऐसे मुद्दे नहीं उठाते. लेकिन उन्हें इसका कोई डर नहीं है क्योंकि उनके परिवार ने निर्दलीय भी चुनाव जीता है.