Plastic Rice Case: प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना (Pradhan Mantri Garib Kalyan Yojana) के तहत देशभर के गरीब परिवारों को फ्री राशन (Free Ration) दिया जा रहा है. यूपी के औरैया (Auraiya) जिले में भी गरीब परिवार इससे लाभान्वित हो रहे हैं. वहीं, इन दिनों यह योजना प्रशासनिक भ्रष्टाचार को लेकर चर्चा में बनी हुई है. दरअसल, यहां के ग्रामीणों की शिकायत है कि उन्हें राशन के तहत मिलने वाला जो चावल दिया जा रहा है वह प्लास्टिक (Plastic Rice) का है. ग्रामीणों ने इससे जुड़ा वीडियो भी बनाया है. वीडियो वायरल (Viral Video) होने के बाद जिला प्रशासन में हड़कंप मच गया है. स्थिति की गंभीरता को देखते हुए जिलाधिकारी ने टीम का गठन किया.
टीम का दावा है कि चावल प्लास्टिक के नहीं हैं बल्कि फोर्टिफाइट चावल को उसमें मिलाया गया है. जांच टीम में शामिल जिला आपूर्ति अधिकारी देवमणि मिश्रा ने बताया कि यह कोई प्लास्टिक चावल नहीं है बल्कि फोर्टिफाइड चावल है. यह भी सरकार की मंशा के अनुसार ही दिया जा रहा है इनको तैयार किया जा रहा है. आयरन मिलाकर मिलो से डिपो में जा रहा है. डिपो से कार्ड धारकों को दिया जा रहा है. हालांकि इस जांच रिपोर्ट से खुद जिलाधिकारी भी संतुष्ट नहीं हैं और उन्होंने चावल के नमूने को जांच के लिए आगे भेजा है. यूपी सरकार कोरोना के समय से ही गरीबों को फ्री राशन बांट रही है. पहले राज्य और केंद्र सरकार मिलकर फ्री राशन बांट रही थी लेकिन अब केंद्र सरकार द्वारा गरीब कल्याण अन्न योजना के तहत गरीबों को मुफ्त में गेहूं और चावल दिया जा रहा है.
यह है पूरा मामला
औरैया जिले के बिधूना तहसील क्षेत्र के रुरुगंज गांव में कोटेदार द्वारा राशन का वितरण किया जा रहा था. ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि उन्हें प्लास्टिक के चावल दिए जा रहे हैं और मौके पर हंगामा करने लगे. इसके साथ ही उन्होंने चावल का वीडियो भी बना लिया. जैसे ही मामला उच्चाधिकारियों के संज्ञान में आया तो हड़कंप मच गया. शासन की छवि को खराब होता देख जिलाधिकारी ने टीम गठित कर दी और तत्काल इस पूरे मामले की जांच शुरू करवाई. जांच करने गई टीम में डीएसओ,डिप्टी आरएमओ और खाद्य सुरक्षा के अधिकारी शामिल थे जिन्होंने बताया कि वह प्लास्टिक के चावल नहीं बल्कि फोर्टिफाइड चावल हैं. चावल की मात्रा में केवल एक प्रतिशत ही फोर्टिफाइड चावल है. जिलाधिकारी ने कहा कि चावल के नमूने लिए गए हैं और आगे जांच के लिए भेजा जा रहा है. कोई भी मिलावट मिलने पर सख्त कार्रवाई की जाएगी.
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